मजदूरों की बेबसी पर यूपी का बस ड्रामा राजनीति पर सवाल खड़े कर रहा है. प्रियंका वाड्रा के नाम पर राजस्थान-यूपी बॉर्डर पर आईं बसें खड़ी ही रह गईं. बसें यूपी में एंट्री नहीं कर सकीं क्योंकि यूपी सरकार ने सही कागजों के नाम पर उन्हें इजाजत नहीं दी. उधर, मजदूरों के नाम पर 1000 बसें मुहैया कराने के कांग्रेस के दांव को खारिज करने यूपी के उप मुख्यमंत्री दिनेश शर्मा खुद प्रेस कॉन्फ्रेंस करने आ गए. दिनेश शर्मा ने दावा किया कि बसों की जो सूची सौंपी गई है, उनमें 297 बसें अनफिट हैं. मतलब किसी का बीमा नहीं तो किसी का फिटनेस सर्टिफिकेट नहीं. लिस्ट में 460 बसों का फर्जीवाड़ा है. 98 3 व्हीलर, कार और एंबुलेंस के नंबर बसों में भेज दिए गए. बसों की लिस्ट को लेकर प्रियंका के निजी सचिव संदीप सिंह और यूपी कांग्रेस के अध्यक्ष अजय सिंह लल्लू के खिलाफ लखनऊ में FIR तक दर्ज हो चुकी है. आजतक के शो दंगल में रोहित सरदाना ने कांग्रेस प्रवक्ता आराधना मिश्रा से पूछा कि कांग्रेस ने लिस्ट में अनफिट बसों को लेकर सवाल किया तो ये था आराधना मिश्रा का जवाब.