
सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) के कॉलेजियम ने एक बार फिर से देश की चार हाईकोर्ट्स के लिए 16 जजों की नियुक्ति की सिफारिश केंद्र सरकार से की है. कॉलेजियम (Collegium) ने जिन हाईकोर्ट्स में जजों की नियुक्ति की सिफारिश की है, उनमें पंजाब-हरियाणा, गुजरात, ओडिशा और बॉम्बे हाईकोर्ट शामिल है. चीफ जस्टिस एनवी रमणा (CJI NV Ramana) की अगुवाई में सुप्रीम कोर्ट के कॉलेजियम ने ये सिफारिशें की हैं.
सुप्रीम कोर्ट के कॉलेजियम के लिए सितंबर का महीना बेहद खास रहा. 1 सितंबर से 29 सितंबर के बीच कॉलेजियम की 7 बार बैठकें हुई हैं, जिसमें अलग-अलग हाईकोर्ट्स में जजों की नियुक्ति के लिए 38 एडवोकेट, 26 ज्यूडिशियल अफसर और 15 एडिशनल जजों के नाम की सिफारिश की गई है.
इसके साथ ही कॉलेजियम ने 9 एडवोकेट को हाईकोर्ट में जज के रूप में नियुक्त करने और 6 जजों के ट्रांसफर की पिछली सिफारिशों को भी दोहराया है. साथ ही 18 जजों और 5 चीफ जस्टिस के ट्रांसफर या री-ट्रांसफर की सिफारिश भी कॉलेजियम ने की है. ये सब कवायदें देश की अदालतों में खाली पड़े जजों के पदों को भरने के लिए हो रही हैं. हाल ही में सीजेआई रमणा ने कहा था कि कॉलेजियम का इरादा सभी हाईकोर्ट में मौजूद 41% रिक्तियों को भरने के कठिन काम को पूरा करना है.
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25 हाईकोर्ट्स में 281 पद खाली
1 सितंबर तक देश की 25 हाईकोर्ट्स में जजों के 281 पद खाली हैं. सितंबर की शुरुआत में सीजेआई रमणा ने बार काउंसिल ऑफ इंडिया के एक कार्यक्रम में कहा था कि उन्हें उम्मीद है कि आने वाले महीनों में मौजूदा खाली पड़े पदों में से 90% को भर दिया जाएगा. अगस्त में कॉलेजियम ने एक ही झटके में हाईकोर्ट में जजों की नियुक्ति के लिए 64 नामों की सिफारिश की थी. हालांकि, अगस्त में की गई 64 नामों और सितंबर में हुई 79 नामों की सिफारिश केंद्र सरकार के पास लंबित है. सीजेआई रमणा ने उम्मीद जताई थी कि जिस स्पीड से सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में 9 जजों की नियुक्ति की, वही स्पीड आगे भी बरकरार रहेगी.