
किसी को विदेशी नोट एकत्रित करने का शौक होता है, किसी को घूमने का शौक होता है. लेकिन शहर में ऐसे भी लोग हैं जिन्हें बप्पा की प्रतिमाएं एकत्रित करने का शौक है. जिनके पास एक नहीं बल्कि सैकड़ों प्रतिमाएं हैं जो हर राज्य और हर शहर से एकत्रित की हुई हैं. क्योंकि ये लोग जहां भी जाते हैं वहां से कुछ और नहीं केवल बप्पा की प्रतिमाएं ही लाते हैं. यही वजह है कि इनके घर में शोपीस नहीं बल्कि बप्पा ही नजर आते हैं.
गणेश जी के ऐसे ही एक भक्त हैं लालपुरा निवासी होटल व्यवसायी रामकृष्ण भावसार. जिन्होंने बप्पा की हर तरह की प्रतिमाएं अपने घर में रखी हुई हैं. अपने परिवार या दोस्तों के साथ ये कहीं भी घूमने जाते हैं या किसी पारिवारिक आयोजन में भी शामिल होते हैं, तो उस शहर से बप्पा की सबसे सुंदर प्रतिमा खरीदना नहीं भूलते.
20 से अधिक प्रतिमाएं
रामकृष्ण ने बताया कि पहले उनके पिता दिवंगत आनंदीलाल भावसार प्रतिमाएं खरीदकर लाते थे और उन्हीं की प्रेरणा से आज वे इस क्रम को आगे बढ़ा रहे हैं. आज स्थिति ये है कि इनके यहां मप्र के अलावा महाराष्ट्र, राजस्थान, उप्र, राजस्थान के कई शहरों की आकर्षक प्रतिमाएं उपलब्ध हैं जिनकी सुंदरता देखते ही मन मोह लेती हैं. भगवान गणपति के भक्त रामकृष्ण के मुताबिक, उनके यहां अब तक 20 हजार से अधिक प्रतिमाएं हैं जो एक नहीं बल्कि हर शहर से एकत्रित की हुई हैं. देखें Video:-
बप्पा के पूजन से करते हैं दिन की शुरुआत
बस स्टैंड पर होटल का व्यवसाय करने वाले रामकृष्ण और उनके परिवार के दिन की शुरूआत बप्पा की आराधना से होती है. इसके बाद ही वे घर से निकलते हैं. केवल वे ही नहीं बल्कि उनके घर का हर सदस्य बप्पा को प्रणाम कर और उनका आशीर्वाद लेकर ही घर से निकलते हैं.
बप्पा ने हमें उससे उबारा
रामकृष्ण बताते हैं कि जब भी हमने खुद को संकट में पाया बप्पा ने हमें उससे उबारा है. इसलिए हमारे पूरे परिवार की उनसे विशेष आस्था है और गणेश चतुर्थी से लेकर अनंत चतुर्दशी पर्व तक उनके यहां विशेष आयोजन होते हैं. मेरे घर में 20 हजार से अधिक गणेश जी की अलग अलग मूर्तियां हैं. मेरे पिता ने मूर्ति लाने की शुरुआत की थी जिसको हम भी जारी रख रहे हैं. आज हमारे परिवार पर गणेश जी की कृपा है.