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ओंकारेश्वर की बाढ़ के लिए मुख्यमंत्री जिम्मेदार, पीड़ितों से मिलने पहुंचे दिग्विजय सिंह का बयान

MP News: लोगों का आरोप था कि शंकराचार्य जी की प्रतिमा अनावरण समारोह के लिए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह को लो लेवल ब्रिज से पहाड़ी पर ले जाने के लिए बांध का पानी रोका गया और फिर अचानक इसे एक साथ छोड़ दिया गया जो तबाही का कारण बना. 

ओंकारेश्वर में बाढ़ पीड़ितों से मिलने पहुंचे दिग्विजय सिंह.  ओंकारेश्वर में बाढ़ पीड़ितों से मिलने पहुंचे दिग्विजय सिंह.
जय नागड़ा
  • खंडवा ,
  • 29 सितंबर 2023,
  • अपडेटेड 2:19 PM IST

मध्यप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और राज्य सभा सदस्य दिग्विजय सिंह ओंकारेश्वर में बाढ़ पीड़ितों का दर्द जानने पहुंचे. कांग्रेस के वरिष्ठ नेता ने बाढ़ प्रभावित लोगों से मुलाकात की और उनकी परेशानी, दुःख-दर्द साझा किया. पत्रकारों से चर्चा करते हुए दिग्विजय सिंह ने स्पष्ट कहा कि ओंकारेश्वर की इस कृत्रिम बाढ़ के लिए पूरी तरह शासन -प्रशासन जिम्मेदार है. इसकी गहन जांच होनी चाहिए और दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई होनी चाहिए. 92711

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पिछले दिनों ओंकारेश्वर में बांध से अचानक पचास हजार क्यूमेक्स पानी छोड़े जाने से भीषण बाढ़ आई थी. जिसके चलते भारी तबाही मची. पूरे बाज़ार में पानी 8 से 10 फीट तक पानी भरा गया और दुकानें जलमग्न हो गई थीं.  बाढ़ का पानी उतरने के बाद इन दुकानों में बहुत नुकसानी हो चुकी थी. पूरे बाज़ार की दर्ज़नों दुकानों में करोड़ों का नुकसान हुआ. लोगों का आरोप था कि शंकराचार्य जी की प्रतिमा अनावरण समारोह के लिए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह को लो लेवल ब्रिज से पहाड़ी पर ले जाने के लिए बांध का पानी रोका गया और फिर अचानक इसे एक साथ छोड़ दिया गया जो तबाही का कारण बना. 

इस तबाही को लेकर दिग्विजय सिंह अपने ट्वीट के माध्यम से पहले ही इसे शासन -प्रशासन की लापरवाही का नतीजा बता चुके हैं. ओंकारेश्वर में बाढ़ की त्रासदी के बाद पहुंचने वाले दिग्विजय पहले बड़े नेता हैं. जबकि इस दौरान मुख्यमंत्री शिवराज भी आ चुके हैं लेकिन वे बाढ़ प्रभावितों से नहीं मिले. 

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पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने कहा कि ओंकारेश्वर में बने बांध का सीधा-सीधा प्रभाव ओंकारेश्वर के लोगों पर पड़ता है. अगर पानी समय पर छोड़ दिया जाता तो बाढ़ नहीं आती. बाढ़ इसलिए आई, क्योंकि शंकराचार्य जी की मूर्ति का अनावरण मुख्यमंत्री को करना था. समारोह स्थल तक जाने के लिए बनाया गया पुल न डूबे इसलिए पानी रोक दिया गया था. फिर अचानक छोड़ दिया गया.  

इससे पहले दिग्विजय सिंह ने ओंकारेश्वर मंदिर में जाकर पूजा -अर्चना की. यहां से वे बाजार में निकले और बहुत से लोगों से बातचीत कर उनका हाल जाना. उन्होंने ब्रिज से भी बांध और मन्दिर की स्थिति का जायजा लिया. बड़ी संख्या में लोग उनसे मिलने पहुंचे. उनके साथ पूर्व कृषि मंत्री सचिन यादव और स्थानीय कांग्रेस नेता भी थे.  

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