Advertisement

'मैं जिंदा हूं', आदिवासी महिला ने कलेक्टर से लगाई गुहार, 2017 में किया गया मृत घोषित

सरकारी कागजात में आदिवासी महिला को छह साल पहले मृत घोषित किया गया. बताया जा रहा है कि 2017 में पंचायत सचिव ने जानबूझकर सरकारी कागजों में महिला को मृत घोषित कर दिया था. इसके कारण उसे सरकारी योजनाओं का लाभ मिलना बंद हो गया है. इसके अलावा वो चुनाव में वोट भी नहीं डाल पा रही है.  

पीड़ित महिला सुमली बाई( फाइल फोटो) पीड़ित महिला सुमली बाई( फाइल फोटो)
विकास दीक्षित
  • गुना,
  • 23 अगस्त 2023,
  • अपडेटेड 12:17 PM IST

मध्य प्रदेश के गुना से हैरान करने वाला मामला सामने आया है. यहां साल 2017 में पंचायत सचिव ने महिला को मृत घोषित कर दिया. इस कारण महिला को उसके पति के नाम से मिलने वाली पेंशन बंद हो गई. इसके अलावा वो मतदान भी नहीं कर पा रही है. महिला पिछले छह साल से खुद को जीवित बताने के लिए सरकारी दफ्तरों के चक्कर काट रही है. 

Advertisement

दरअसल, मामला गुना जिले के ग्राम काबर बमोरी का है. यहां आदिवासी महिला सुमली बाई पिछले छह वर्षों से खुद को जीवित बताने की कोशिश कर रही है. मगर, अफसरों की लापरवाही के चलते ये काम पूरा नहीं पो रहा है. इस कारण से उसको कई सरकारी योजनाओं का लाभ मिलना भी बंद हो गया है. महिला के पति सुभान सिंह की मौत हो चुकी है. पति की मौत के बाद उसे पेंशन योजना का लाभ मिलता था. मगर, 2017 के बाद से उसके पेंशन योजना का लाभ मिलना भी बंद हो गया है. 

आश्वासन के बावजूद महिला को नहीं किया जीवित 

इसके बाद आदिवासी महिला सुमली बाई ने मुख्यमंत्री हेल्पलाइन पर भी इस मामले की शिकायत की. मगर, कोई नतीजा नहीं निकला. पीड़ित महिला पिछले छह साल से सरकारी कागजात में खुद को जीवित करने की कोशिश कर रही है. लेकिन, सिस्टम के आगे वो लाचार नजर आ रही है. महिला के साथ उसका बेटा भी ये लड़ाई लड़ रहा है. जिला प्रशासन द्वारा महिला को पिछले छह वर्षों से आश्वासन दिया जा रहा है. लेकिन, अब तक उसे सरकारी रिकॉर्ड में जिंदा नहीं किया गया है.

Advertisement

महिला को जीवित देख कलेक्टर रहे गए हैरान

इसके बाद महिला ने कलेक्टर तरुण राठी के सामने दस्तावेज पेश किए. उसने बताया कि 2017 में पंचायत सचिव ने जानबूझकर उसे कागजों में मृत घोषित कर दिया था. इसके कारण उसे पेंशन योजना का लाभ नहीं मिल पा रहा है. इसके अलावा वो वोट भी नहीं डाल पा रही है. महिला ने जनसुनवाई में पहुंचकर खुद के जीवित होने का प्रमाण दिया तो कलेक्टर भी हैरान रहे गए. 

महिला  को जल्द ही योजनाओं का लाभ मिलेगा- कलेक्टर

इस मामले में कलेक्टर तरुण राठी ने बताया कि महिला की शिकायत पर जांच के आदेश दिये गए है. पहली नजर में ये लिपिकीय त्रुटि दिखाई दे रही है. इसमें जल्द से जल्द सुधार कर लिया जाएगा. साथ ही महिला को पेंशन योजना का लाभ भी दिया जाएगा. 

Read more!
Advertisement

RECOMMENDED

Advertisement