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महाकाल के दरबार में कमलनाथ की अर्जी- मध्यप्रदेश को 50% कमीशन से मुक्ति दिलाएं, BJP बोली- मंदिर में सियासत निंदनीय

मध्य प्रदेश में शिवराज सिंह सरकार पर 50 प्रतिशत कमीशन का आरोप लगाने के बाद कांग्रेस नेता कमलनाथ ने अब उज्जैन के भगवान महाकाल के नाम भी चिट्ठी लिख डाली है और प्रदेश को करप्शन से मुक्ति की कामना की है. लेकिन मध्य प्रदेश में कांग्रेस की पहली ही करप्शन वाली चाल में 41 मुकदमों का पलटवार हुआ है. 

पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने उज्जैन में किए भगवान महाकाल के दर्शन. पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने उज्जैन में किए भगवान महाकाल के दर्शन.
हेमेंद्र शर्मा/रवीश पाल सिंह
  • उज्जैन ,
  • 14 अगस्त 2023,
  • अपडेटेड 6:03 PM IST

मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ सोमवार को उज्जैन में भगवान महाकाल की सवारी में शामिल हुए. इस दौरान प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष ने महाकालेश्वर की पूजा अर्चना की और फिर उनके दरबार में एक लिखित अर्जी लगाई. इसमें मध्य प्रदेश को 50 फीसदी कमीशन और भ्रष्टाचार से मुक्ति दिलाने की प्रार्थना की गई. 

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता ने अपनी अर्जी में लिखा, ''जय महाकाल, भगवान श्री महाकाल के चरणों में इस अकिंचन का दंडवत प्रणाम. हे अविनाशी, मैं मध्य प्रदेश की समस्त दुखियारी प्रजा की ओर से आपसे अरज करता हूं कि मेरा मध्य प्रदेश भ्रष्टाचार के दलदल में डूबता जा रहा है. भ्रष्टाचार की जननी पार्टी (BJP) के 50% के कमीशन राज ने घोटालों में किसी को नहीं छोड़ा है. गर्भवती महिलाओं के पोषण आहार से लेकर प्रभु स्वयं आपके महाकाल लोक के निर्माण तक में भ्रष्टाचार हुआ है. पूरी प्रजा इस कमीशन राज से त्राहि-त्राहि कर रही है. जो इस अत्याचार के खिलाफ आवाज उठाता है, उस पर झूठे मुकदमे डाल दिए जाते हैं और हर तरह से प्रताड़ित किया जाता है. आप मध्य प्रदेश की प्रजा को इस भ्रष्ट राज से मुक्ति दिलाएं, अपराधियों को दंड दें और समस्त प्रजा का कल्याण करें. आसुतोष तुम्ह अवढर दानी. आरति हरहु दीन जनु जानी. आपका चरण सेवक. कमलनाथ'' देखें मीडिया से क्या बोले कमलनाथ:- 

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इससे पहले कमलनाथ ने एक ट्वीट में लिखा, ''चोरी और सीनाजोरी कमीशन राज सरकार का मूल मंत्र बन गया है. मुख्यमंत्री रोज पूरे प्रदेश में घूमकर विकास पर भाषण देते हैं और प्रदेश का नौजवान अपने भविष्य के विनाश पर आंसू बहाता है. प्रदेश में एक करोड़ से अधिक बेरोजगार नौजवान हैं, लेकिन इन्हें रोजगार की जगह नर्सिंग घोटाला, व्यापम घोटाला, पुलिस भर्ती घोटाला, पटवारी भर्ती घोटाला और आयुष्मान कार्ड घोटाला मिलता है.  50% कमीशन के इस राज से विदाई के साथ ही इस घोटाला-राज का अंत होगा, तभी प्रदेश का नौजवान निशंक होगा.''

पता हो कि मध्य प्रदेश में कांग्रेस ने एक कथित फर्जी चिट्ठी के हवाले से शिवराज सिंह सरकार पर 50 प्रतिशत कमीशन की सरकार का हमला करना शुरू कर दिया. इसकी शुरुआत कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने अपने उस ट्वीट से की, जिसमें लिखा था, ''मध्य प्रदेश में ठेकेदारों के संघ ने हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश को पत्र लिखकर शिकायत की है कि प्रदेश में 50% कमीशन देने पर ही भुगतान मिलता है.  कर्नाटक में भ्रष्ट BJP सरकार 40% कमीशन की वसूली करती थी. मध्य प्रदेश में BJP भ्रष्टाचार का अपना ही रिकॉर्ड तोड़कर आगे निकल गई है. कर्नाटक की जनता ने 40% कमीशन वाली सरकार को बाहर किया, अब मध्य प्रदेश की जनता 50% कमीशन वाली भाजपा सरकार को सत्ता से हटाएगी.''

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उधर, मध्य प्रदेश की पुलिस का दावा है कि चिट्ठी फर्जी है और उसके बाद प्रियंका गांधी से लेकर कमलनाथ तक के नाम मुकदमे दर्ज हो गए हैं. कांग्रेस के बड़े नेताओं पर फर्जी खबर वायरल करके माहौल खराब करने का आरोप लगाया जा रहा है. लेकिन कांग्रेस बैकफुट पर नहीं है. भोपाल में कांग्रेस ने शिवराज सिंह सरकार के खिलाफ प्रदर्शन किया है. 

इसी बीच, कांग्रेस कर्नाटक में करप्शन पर आजमाए गए फॉर्मूले पर ही मध्य प्रदेश में चुनावी रणनीति सेट कर रही है. पता हो कि कांग्रेस पार्टी ने कर्नाटक में बीजेपी के खिलाफ 40 प्रतिशत कमीशनखोरी के दांव पर आक्रामक प्रचार किया और जीत भी हासिल की. उसी पिच पर मध्य प्रदेश की पॉलिटिक्स को भी बढ़ाने की कोशिश है.

कमलनाथ ने तो उज्जैन के भगवान महाकाल के नाम भी चिट्ठी लिख डाली है और प्रदेश को करप्शन से मुक्ति की कामना की है. इसको लेकर एमपी बीजेपी प्रवक्ता गोविंद मालू ने कहा,  बाबा महाकाल के दरबार में जाकर कमलनाथ जनता की खुशहाली की कामना नहीं कर रहे, वह तो झूठ-फरेब के पाप से बचने का उपाय ढूंढ़ रहे हैं. कांग्रेस नेता ने एक पत्र के जरिए झूठ फैलाया है, उसके लिए उनको जेल होगी. कमलनाथ बीजेपी सरकार पर झूठे आरोप लगाने के बाद अगाध श्रद्धा के केंद्र में जाकर भी राजनीति कर रहे हैं. यह शर्मनाक और निंदनीय कृत्य है. देखें Video:-

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हालांकि, मध्य प्रदेश में कांग्रेस की पहली ही करप्शन वाली चाल में 41 मुकदमों का पलटवार हुआ है. कांग्रेस की नेता प्रियंका गांधी, कमलनाथ और अरुण यादव समेत बड़े नेताओं पर प्रदेशभर में केस दर्ज किए गए हैं. 

करप्शन पर कांग्रेस कर्नाटक का फॉर्मूला मध्य प्रदेश में आजमाना चाहती है और बीजेपी इस मसले पर जरा भी रिस्क लेने को तैयार नहीं. इसलिए अबकी बार पहले ही वार पर 41 एफआईआर करके बीजेपी ने कोई मोर्चा खाली नहीं छोड़ने की कोशिश जारी रखी है. अब भ्रष्टाचार पर आरपार की ये कहानी चुनावी सीजन में कहां तक बढ़ती है ये देखने वाली बात होगी.

बीजेपी प्रदेशाध्यक्ष वीडी शर्मा ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि फर्जी पत्र वायरल करने वालो को सायबर क्राइम के तहत जेल भेजने का काम करेंगे. मध्य प्रदेश के कोने कोने में मामले दर्ज कराएंगे. इंदौर में एफआईआर हो गई हैं.  

अब बीजेपी कर्नाटक से ही करप्शन की कहानी फिर से शुरू कर रही है. कर्नाटक के ठेकेदार कांग्रेस सरकार पर आरोप लगा रहे हैं. बीजेपी कह रही है कि कर्नाटक में अब 55 फीसदी कमीशन वाली सरकार आ गई है जो 6 महीने ही चल पाएगी. इसस मामले में बीबीएमपी ठेकेदार संघ के अध्यक्ष केटी मंजूनाथ ने बताया कि हम बीजेपी से लड़े अब कांग्रेस से लड़ रहे हैं. 

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बहरहाल, इस तमाम सियासी दांव पेच के बीच सबसे बड़ा सवाल यही है कि क्या मध्य प्रदेश में कांग्रेस करप्शन के मोर्चे पर शिवराज सिंह चौहान को घेर पाएगी? क्या कर्नाटक की बौखलाई बीजेपी भ्रष्टाचार के मुद्दे पर कांग्रेस को छूट देगी? क्या चुनाव से पहले कांग्रेस ने मध्य प्रदेश में करप्शन का मुद्दा फिक्स करने की कोशिश कर रही है?

(बेंगलुरु से सगय राज का भी इनपुट)

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