
दिल्ली के ओल्ड राजेंद्र नगर में हुए एक हादसे में बेसमेंट क्षेत्र में पानी भरने से प्रतियोगी परीक्षा की तैयारी कर रहे तीन युवाओं की असामयिक मृत्यु के बाद एमपी सरकार सतर्क हो गई है. मुख्यमंत्री मोहन यादव ने दिल्ली में हुई घटना के बाद मध्यप्रदेश के बेसमेंट में संचालित कोचिंग केंद्रों के सर्वे के निर्देश दिए गए हैं. मंत्रालय में एक समीक्षा बैठक में सीएम ने ये निर्देश दिए.
सीएम यादव ने प्रदेश में बेसमेंट में चल रहे कोचिंग के स्थानों में जल भराव होने पर जल निकासी की व्यवस्था देखने और सुरक्षित विद्युत व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं. अपर मुख्य सचिव डॉ राजेश राजौरा ने बताया कि 16 नगर निगम कमिश्नर्स को निर्देश जारी कर कहा गया है कि वे अपने कार्यक्षेत्र में बेसमेंट में चल रहे कोचिंग संस्थानों और अन्य धर्मशालाओं और संस्थाओं का निरीक्षण कर रिपोर्ट राज्य सरकार को सौंपें.
बता दें कि ओल्ड राजेंद्र नगर इलाके में शनिवार को भारी बारिश के बाद एक कोचिंग सेंटर के 'बेसमेंट' में पानी भर जाने से सिविल सेवा परीक्षा की तैयारी कर रहे 3 अभ्यर्थियों की मौत हो गई. बेसमेंट में स्थित पुस्तकालय अवैध रूप से संचालित किया जा रहा था और इसमें केवल एक ही प्रवेश और निकास बिंदु था जो बायोमेट्रिक आधारित था और पानी के कारण बंद हो गया था. एमसीडी के अधिकारियों ने दावा किया कि अगर बाहर निकलने का रास्ता खुला होता तो छात्र बच सकते थे.
उधर, मुख्यमंत्री ने दिल्ली से लौटने के बाद सीधे अचानक राज्य बाढ़ कंट्रोल रूम पहुंचकर प्रदेश के जिलों में अति वर्षा की स्थिति की जानकारी प्राप्त की. निर्देश दिए कि यह सुनिश्चित किया जाए कि ऐसे स्थान जहां भी पुल के ऊपर पानी बह रहा हो तो वहां नागरिकों को नहीं जाना चाहिए. इस संबंध में सभी सजग रहे. बांधों के गेट खुलने की स्थिति में सतर्क रहें. जो क्षेत्र जलमग्न हो सकते हैं, वहां आवश्यक सावधानी रखी जाए. जनहानि न हो, यह ध्यान रखा जाए. कंट्रोल रूम में भी वरिष्ठ अधिकारी समय-समय पर उपस्थित रहें और जिलों में प्रशासनिक अधिकारी सभी प्रबंध सुनिश्चित करते रहें.
CM ने देर रात भोपाल स्थित बाढ़ नियंत्रण कक्ष का निरीक्षण कर कार्य प्रणाली की जानकारी प्राप्त की. पुलिस महानिदेशक सुधीर कुमार सक्सेना और अन्य वरिष्ठ अधिकारियों से बाढ़ नियंत्रण कक्ष द्वारा किए जा रहे कार्य के संबंध में जानकारी प्राप्त की.
मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि वरिष्ठ अधिकारी सभी स्थितियों पर निरंतर नजर रखें. आवश्यकता हो तो हेलीकॉप्टर की व्यवस्था भी ऐसे क्षेत्र के लिए रखी जाए. ग्रामीण क्षेत्रों में ट्यूबवेल के कारण होने वाली दुर्घटनाओं पर नियंत्रण स्थापित करें.