
नीतीश कुमार की चर्चा अभी भले ही केंद्र की मोदी सरकार 3.0 के गठन में किंगमेकर के रूप में हो रही हो, लेकिन उससे कहीं ज्यादा महत्वपूर्ण बिहार की राजनीति में उनकी भूमिका को लेकर आया डिप्टी सीएम सम्राट चौधरी का बयान है.
2020 के बिहार विधानसभा चुनाव के बाद से ही बीजेपी खुद को बड़े भाई के रूप में देख रही थी, और जनवरी, 2024 में जब वो महागठबंधन छोड़कर एनडीए में लौटे तो ऐसा लग रहा था कि उनका कद बहुत ही छोटा कर दिया गया हो. लेकिन बीजेपी नेता की बात से तो यही लगता है कि नीतीश कुमार बिहार में फिर से बड़े भाई की भूमिका हासिल कर चुके हैं.
कोई भी ऐसा मौका देखने को नहीं मिल रहा था, जब नीतीश कुमार के मुंह से एक खास बात सुनने को न मिल रहा हो - 'चले गये थे... अब कहीं नहीं जाएंगे.'
बावजूद इसके नीतीश कुमार ने एक चीज का चुनावों से पहले ही इंतजाम कर लिया था, लोकसभा सीटों के नाम पर कोई समझौता नहीं किये. चाहे वो नीतीश कुमार का दबाव हो, या फिर बीजेपी की मजबूरी - एनडीए में जेडीयू के हिस्से में बीजेपी को 16 सीटें देनी ही पड़ीं. बीजेपी खुद 17 सीटों पर लड़ी थी, लेकिन जीत बराबरी पर रही. दोनों को 12-12 लोकसभा सीटें ही मिली हैं - इस चुनाव नतीजे ने एक झटके में बिहार ही नहीं, पूरे देश की राजनीति में समीकरण बदल दिये हैं.
ये डील भी नीतीश कुमार के लिए आसान नहीं थी, लेकिन अपने अनुभव का फायदा उठाते हुए जेडीयू नेता ने बीजेपी नेतृत्व से अपनी बात मनवा ली. आखिर ये नीतीश कुमार की ही अहमियत थी कि ना ना करते अमित शाह उनको एनडीए में वापस लेने को तैयार होना पड़ा.
नीतीश कुमार के कट्टर विरोधी रहे बिहार बीजेपी अध्यक्ष सम्राट चौधरी का ये कहना कि 2025 के बिहार विधानसभा चुनाव एनडीए नीतीश कुमार के नेतृत्व में ही लड़ेगा - आखिर ये नीतीश कुमार को मिली मोदी की गारंटी नहीं तो क्या है?
नीतीश की मुख्यमंत्री की कुर्सी आगे भी पक्की
बिहार बीजेपी का अध्यक्ष बनने के बाद सम्राट चौधरी का अपनी पगड़ी को लेकर दिया बयान काफी चर्चित रहा. तब सम्राट चौधरी ने नीतीश कुमार को मुख्यमंत्री पद से हटाने के बाद ही अपनी पगड़ी उतारने की बात कही थी.
बाद में ऐसी परिस्थितियां बनीं कि सम्राट चौधरी को नीतीश कुमार के डिप्टी सीएम के रूप में शपथ लेनी पड़ी. वो चाहते तो उनकी पगड़ी का वादा पूरा ही हो चुका था. नीतीश कुमार ने इस्तीफा दे दिया, और फिर बीजेपी की कृपा पर मुख्यमंत्री बन गये.
मजबूरी में ही सही, लेकिन अब तो सम्राट चौधरी ने हटाने की जगह आगे भी नीतीश कुमार की कुर्सी पक्की करने वाली बात बोल दी है - और ये नीतीश कुमार की नई ताकत का साक्षात नमूना है.
आम चुनाव से पहले तक सम्राट चौधरी का दावा यही होता था कि 2025 में बिहार में बीजेपी का मुख्यमंत्री बनेगा - लेकिन अब तो ये मामला सरेआम साफ हो चुका है कि सम्राट ने 2025 के लिए नीतीश कुमार को नेता मान लिया है.
नीतीश कुमार के नेतृत्व को लेकर पूछे जाने पर सम्राट का जवाब था, नीतीश कुमार हमारे नेता हैं.
बोले, नीतीश कुमार बिहार के नेता हैं... कोई दो राय नहीं है... प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और नीतीश कुमार बिहार के विकास के लिए प्रतिबद्ध हैं... दोनों दलों का गठबंधन भी सिर्फ बिहार के विकास के बेस पर हुआ है.
सम्राट चौधरी ने आगे कहा, हमारा अगला लक्ष्य 2025 के विधानसभा चुनाव में 200 से अधिक सीट हासिल करना है. एनडीए में लौटकर ताजा पारी शुरू करते हुए नीतीश कुमार ने भी ऐसी ही बात कही थी.
नीतीश कुमार ने अगस्त, 2022 में एनडीए छोड़ दिया था. करीब महीने भर बाद बीजेपी नेता अमित शाह ने बिहार में पूर्णिया और किशनगंज का दौरा किया था, और नीतीश कुमार को लेकर बहुत सारी बातें कही थीं - और लगे हाथ ये भी बता दिया था कि 2025 में बिहार में बीजेपी का ही मुख्यमंत्री बनेगा.
पूर्णिया में रैली में अमित शाह ने बीजेपी नेताओं और कार्यकर्ताओं को लोकसभा और विधानसभा चुनाव की तैयारियों के लिए कमर कस लेने की अपील की थी. किशनगंज में अमित शाह ने बीजेपी नेताओं को जीत का मंत्र भी दिया था. तब अमित शाह ने बिहार में लोकसभा की 32 सीटें जीतने का दावा किया था, एनडीए को इस बार 29 सीटें मिली हैं.
अमित शाह ने कहा था, बिहार में भाजपा का मुख्यमंत्री का चेहरा कौन होगा, ये घोषणा लोकसभा चुनाव के बाद होगी... और उन्हीं की अगुवाई में चुनाव लड़ा जाएगा... हमें पूरी उम्मीद है कि बिहार में भाजपा अपने बूते पूर्ण बहुमत की सरकार बनाएगी.
लालू परिवार के लिए क्या संदेश है
मोदी सरकार के लिए किंगमेकर बने नीतीश कुमार ने बिहार की मुख्यमंत्री की कुर्सी पक्की कराने के साथ ही आरजेडी नेता लालू यादव और तेजस्वी यादव को भी संदेश भेज दिया है - 2025 में बिहार में नेता वही रहेंगे, तेजस्वी यादव नहीं.
जब नीतीश कुमार महागठबंधन में हुआ करते थे, तेजस्वी यादव को मुख्यमंत्री बनाने को लेकर लालू यादव और आरजेडी नेताओं ने काफी दिनों तक दबाव बनाया हुआ था.
और ये दवाब इतना हावी हुआ कि एक दिन नीतीश कुमार को कहना पड़ा था, ‘2025 में होने वाला बिहार विधानसभा चुनाव तेजस्वी यादव के नेतृत्व में लड़ा जाएगा.’
अब बीजेपी की तरफ से एनडोर्समेंट मिल जाने के बाद नीतीश कुमार ने लालू परिवार को भी ये संदेश दे दिया है कि अगले विधानसभा चुनाव में हर हाल में बिहार में नेता तो वही रहेंगे. हाल फिलहाल, बार-बार तेजस्वी यादव कह रहे थे कि चाचा चुनाव नतीजों के बाद 'खेला' करेंगे - और नीतीश कुमार ने वो कमाल दिखा ही दिया है.
पटना से दिल्ली की फ्लाइट में नीतीश कुमार और तेजस्वी यादव दोनों के बॉडी लैंग्वेज को देखकर भी कई लोग अलग अलग मायने निकाल रहे थे - लेकिन नीतीश कुमार को लेकर बीजेपी नेता सम्राट चौधरी के बयान के बाद लालू परिवार को भी मैसेज मिल गया है - 'चाचा ने खेला तो किया है', लेकिन तेजस्वी यादव के मनमाफिक तो बिलकुल नहीं. और सम्राट चौधरी या मोदी-शाह के मनमाफिक भी नहीं - ऊपर से अपने मनमाफिक मोदी-शाह की गारंटी भी ले ली है.