आज उजड़ी हुई सी है संगीत की दुनिया, दर्द का एक थक्का गुजरा है संगीत के संसार में, शूल बनकर चुभा है ये वाक्य, कि नहीं रहीं लता मंगेशकर. ये सिर्फ लता मंगेशकर का जाना नहीं है, ये अवसान है एक सदी का, लता ताई, जो टूटी तमन्नाओं की खुरदरी जमीन पर अपने गीतों के जरिए मखमली जज़्बात रच देती थीं. उनकी आवाज़ कानों में गूंज रही है, मानों वो खुद कह रही हैं- तुम मुझे यूं भुला न पाओगे. लता मंगेशकर अनंत की यात्रा पर निकल चुकी हैं. आज लता ताई की रुखसती से बेनूर हो गई हैं. देखिए ये एपिसोड.