कोरोना का प्रकोप इस कदर बढ़ गया है कि लोगों को अपनी ही सांसों से डर लगने लगा है. ऐसे में दूसरों को बचाने के लिए कुछ लोग फरिश्ते की तरह जुटे हैं. पुलिस भी उनमें से ही है. उनमें भी ऐसी महिला कर्मयोद्धा हैं जो अपने छोटे-छोटे बच्चों से दूर रहकर अपनी ड्यूटी को अंजाम दे रही हैं. ये वतनपरस्ती, फर्ज के लिए ये मुस्तैदी, अपने जज्बातों को अपने आंसुओं में कैद कर लेने का ये जज्बा. अब आप ये मत पूछिएगा कि जिन्हें नाज है हिंद पे, वो कहां हैं? कोरोना काल के इन क्रांतिवीरों को, इन योद्धाओं को देखकर आप ये कहिए कि जिन्हें नाज है हिंद पे, वो यही हैं. देखिए विशेष.