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राजस्थान में केन्द्रीय अन्वेषण ब्यूरो यानी की CBI ने शुक्रवार को अवैध रेत खनन मामले से जुड़े 10 स्थानों पर छापेमारी की. यह छापेमारी जयपुर, टोंक, अजमेर और भीलवाड़ा जिलों में संदिग्धों के ठिकानों पर की गई, जिसमें अवैध रेत खनन से जुड़े सबूत जुटाए गए.
न्यूज एजेंसी की रिपोर्ट के मुताबिक सीबीआई ने इस मामले की जांच का जिम्मा इस साल अप्रैल में राजस्थान हाई कोर्ट के आदेश के बाद बूंदी पुलिस से लिया था. इससे पहले बूंदी पुलिस ने इस मामले में एक व्यक्ति, शाहरुख, को गिरफ्तार किया था, उसे उस वक्त अरेस्ट किया गया था जब वो बिना वैध परमिट के 40 मीट्रिक टन रेत एक डंपर में लेकर जा रहा था.
10 जगहों पर छापेमारी
अवैध खनन के इस मामले की तहकीकात में तेजी लाने के लिए सीबीआई ने जून 2024 में भी एक बार छापेमारी की थी. उस दौरान, जांच एजेंसी ने 20 लाख रुपये की नकदी और एक पिस्तौल बरामद की थी. शुक्रवार की छापेमारी उस जांच की कड़ी में ही थी, जिसके तहत सीबीआई ने संदिग्धों के ठिकानों पर दस्तावेज और सबूतों की तलाश की.
सीबीआई के एक अधिकारी ने बताया कि इन छापों का उद्देश्य अवैध रेत खनन से जुड़े गिरोह का पर्दाफाश करना और उनके खिलाफ सबूत जुटाना था. जांच एजेंसी यह पता लगाने की कोशिश कर रही है कि रेत खनन से जुड़े इस अवैध कारोबार में किन-किन लोगों की संलिप्तता है और इसमें कौन-कौन से सरकारी अधिकारी शामिल हो सकते हैं.
अवैध रेत खनन राजस्थान में बड़ी समस्या
बता दें कि अवैध रेत खनन राजस्थान में एक बड़ी समस्या के रूप में उभरा है, जहां पर्यावरण संरक्षण और कानून व्यवस्था के उल्लंघन के बावजूद इस धंधे से जुड़े लोग बड़े पैमाने पर रेत खनन करते हैं. स्थानीय पुलिस और प्रशासन पर मिलीभगत के आरोप भी कई बार सामने आए हैं, जिससे यह और चुनौतीपूर्ण हो गया है.
फिलहाल, सीबीआई ने मामले की जांच को आगे बढ़ाते हुए अलग-अलग ठिकानों से मिले सबूतों की समीक्षा शुरू कर दी है. इस छापेमारी के बाद और भी गिरफ्तारियों की संभावना जताई जा रही है, और सीबीआई जल्द ही अपनी जांच रिपोर्ट कोर्ट में पेश कर सकती है.