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भारत जोड़ो यात्रा की सफलता को कांग्रेस वोटों में बदल पाएगी? शशि थरूर ने दिया ये जवाब

कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने कहा कि भारत जोड़ो यात्रा के जरिए राहुल गांधी की छवि बदल गई है. राहुल गांधी ने इस यात्रा के जरिए कई बड़े मिथक तोड़ दिए हैं. राहुल को लेकर लोग तमाम तरह की बातें करते थे, लेकिन उन्होंने भारत जोड़ो यात्रा के जरिए खुद को साबित करके दिखाया है. राहुल ने राजनीति में भी बदलाव ला दिया है. उनको लेकर तीन तरह की बातें की जाती थीं. राहुल ने इन सारे आरोपों का जवाब यात्रा पूरी करते हुए दे दिया है.

कांग्रेस नेता शशि थरूर. (फाइल फोटो) कांग्रेस नेता शशि थरूर. (फाइल फोटो)
aajtak.in
  • नई दिल्ली,
  • 21 जनवरी 2023,
  • अपडेटेड 7:14 PM IST

कांग्रेस नेता राहुल गांधी के नेतृत्व में भारत जोड़ो यात्रा अब अपने अंतिम पड़ाव जम्मू-कश्मीर पर पहुंच गई है. ऐसे में इस यात्रा को लेकर राजनीतिक गलियारों में चर्चाएं भी तेज हो गई हैं. इस बीच, कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने शनिवार को राजस्थान के जयपुर में भारत जोड़ो की सफलता को लेकर बड़ा बयान दिया है. थरूर ने कहा कि इस यात्रा के जरिए राहुल गांधी ने पूरी तरह लोगों की सोच बदल दी है. राहुल ने लगातार प्रेस कॉन्फ्रेंस कर रहे हैं और हर वर्ग के व्यक्ति से मुलाकात कर रहे हैं. राहुल ने राजस्थान के अंदरूनी विवाद पर भी बयान दिया और कहा- हमें अपने साथी के बारे में सोच समझकर बोलना चाहिए.

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तिरुवंतपुरम से कांग्रेस सांसद शशि थरूर जयपुर में एक लिटरेचर फेस्टिवल में शामिल होने आए थे. थरूर से जब पूछा गया कि क्या आपको विश्वास है कि आने वाले चुनाव में भारत जोड़ो यात्रा की सफलता कांग्रेस के लिए वोटों में बदल जाएगी? इस पर उन्होंने कहा- हर कोई कहता है कि यह साबित होना बाकी है. मैं भी स्वीकार करता हूं कि यह साबित होना बाकी है, लेकिन हम इसे साबित कर सकते हैं.

प्रधानमंत्री ने कितनी प्रेस कॉन्फ्रेंस की?

शशि थरूर ने कहा कि 'भारत जोड़ो यात्रा' ने राहुल गांधी की छवि को बदल दिया है. पूरा 'पप्पू कारोबार' तीन आरोपों के इर्द-गिर्द चल रहा था. पहला- वो एक दिन धरने की घोषणा करेंगे, अगले दिन विदेश भाग जाएंगे. यहां आज वे मजबूती से खड़े हैं और 160 दिन से लगातार चल रहे हैं. अब आप फालतू की बातें नहीं कर सकते हैं. दूसरा आरोप था कि वह घमंडी किस्म के नेता हैं, उन तक पहुंच पाना मुश्किल होता है. वे किसी से मिलते-जुलते नहीं हैं.  आज सभी वर्गों के लोग उनसे मिल रहे हैं और यात्रा में साथ चल रहे हैं. राहुल उनका हाथ पकड़ते हैं और साथ आगे बढ़ते हैं. तीसरा था कि वे गंभीर किस्म के राजनीतिज्ञ नहीं हैं. राहुल ने इस यात्रा में अब तक दर्जनों प्रेस कॉन्फ्रेंस की. सवालों के जवाब दिए. प्रधानमंत्री ने कितनी प्रेस कॉन्फ्रेंस की. राहुल के खिलाफ लगाए गए सभी आरोप हवा में बिखर गए हैं. अब वह एक ऐसे व्यक्ति हैं, जो यात्रा के जरिए पूरी तरह बदल चुके हैं.

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हर दल में किसी स्तर पर गुटबाजी होती है

शशि थरूर ने राजस्थान कांग्रेस के अंदरूनी विवाद पर भी बयान दिया. थरूर ने कहा कि हर राजनीतिक दल में किसी ना किसी स्तर पर गुटबाजी होती है, लेकिन नेताओं को व्यापक तस्वीर और सामूहिक लक्ष्य को देखना चाहिए. उन्होंने कहा- क्या लोकतंत्र में दो लोगों के बीच मतभेद हो सकते हैं, लेकिन अगर आप विचारधारा को साझा करते हैं और एक ही विचार के लिए लड़ रहे हैं, तो पार्टी जो कहती है वही होता है. उन्होंने कहा- यह वास्तविकता है कि हर पार्टी में कुछ छोटे गुट होते हैं, लेकिन बड़ी बात यह है कि हम सभी भाजपा के खिलाफ हैं. बड़े मुद्दों की तुलना में ये बहुत छोटी चीजें हैं.

न्यूज एजेंसी के मुताबिक, शुक्रवार को सचिन पायलट ने सीएम अशोक गहलोत पर तंज कसा था और कहा था कि बुजुर्गों को युवा पीढ़ी के बारे में सोचना चाहिए और युवाओं को न्याय मिलना चाहिए. उन्होंने न्यूजीलैंड की प्रधानमंत्री जैसिंडा अर्डर्न के इस्तीफे का जिक्र किया और कहा कि अर्डर्न को आठ साल पहले शीर्ष पद पर नियुक्त किया गया था, लेकिन उन्होंने अपनी कम सार्वजनिक रैंकिंग के कारण पद छोड़ दिया और अब पार्टी के लिए काम करने का फैसला किया है. इससे पहले एक वीडियो सामने आया था जिसमें राजस्थान के मुख्यमंत्री कथित तौर पर कह रहे हैं कि महामारी के बाद पार्टी में 'बड़ा कोरोना' घुस गया है. माना जा रहा है कि गहलोत ने कथित तौर पर पायलट की तुलना कोरोनावायरस से की थी. 

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इस सारे विवाद के बीच थरूर ने कहा- जब हम अपने सहयोगियों के बारे में बात कर रहे हैं, तो हमें अपने शब्दों का प्रयोग सोच-समझकर करना चाहिए. मुझे इस बात का गर्व है कि अपने 14 साल के राजनीतिक जीवन में मैंने कभी किसी के लिए इस तरह के शब्दों का इस्तेमाल नहीं किया. एक-दो बार मैंने कहा कि मैं कीचड़ में कुश्ती नहीं लड़ना चाहता. उन्होंने कहा- 'इसलिए मेरा अपने साथियों से अनुरोध है कि अपने भाई-बहनों के बारे में ऐसी बातें कहना ठीक नहीं है. वे निश्चित रूप से इसे कहने के तरीके खोज सकते हैं और निजी तौर पर और भी बहुत कुछ कह सकते हैं.

 

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