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Ganesh Jayanti 2022: गणेश जयंती पर बन रहे ये दो खास योग, जानें तिथि, शुभ मुहूर्त और महत्व

Ganesh Jayanti 2022: गणेश जयंती माघ महीने की चतुर्थी को मनाई जाती है. इस दिन को माघ चतुर्थी, तिलकंड चतुर्थी, माघ विनायक चतुर्थी, वरद चतुर्थी के नाम से भी जाना जाता है. हिंदू मान्यता के अनुसार इसी दिन भगवान गणेश का जन्म हुआ था. गणेश चतुर्थी इस बार 4 फरवरी को शुक्रवार के दिन मनाई जाएगी. इस दिन व्रत करने और गणेश जी की कथा सुनने से सभी मनोकामना पूर्ण होती हैं.

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aajtak.in
  • नई दिल्ली ,
  • 02 फरवरी 2022,
  • अपडेटेड 11:05 AM IST
  • 4 फरवरी को मनाई जाएगी गणेश जयंती
  • माघ विनायक चतुर्थी मानी जाती है बेहद शुभ

Ganesh Jayanti 2022: गणेश चतुर्थी इस बार 4 फरवरी को शुक्रवार के दिन मनाई जाएगी. खास बात ये है कि इस बार चतुर्थी पर गणेश जी की पूजा शिव योग और रवि योग में होगी. इन दो शुभ योग में भगवान गणेश की पूरे विधि-विधान से पूजा-अर्चना करना बेहद शुभ माना जा रहा है. बताते हैं गणेश जयंती के मुहूर्त और धार्मिक महत्व के बारे में... 

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गणेश जयंती 2022 पूजा शुभ मुहूर्त
चतुर्थी तिथि शुरू- 04 फरवरी, शुक्रवार, सुबह 04 बजकर 38 मिनट से 
चतुर्थी तिथि समापन- 05 फरवरी, शनिवार,  सुबह 03 बजकर 47 मिनट तक
शुभ मुहूर्त: 04 फरवरी, शुक्रवार, सुबह 11  बजकर 30 मिनट से दोपहर 01 बजकर 41 मिनट तक
कुल अवधि: 02 घंटा 11 मिनट

 गणेश चतुर्थी पर बन रहे ये दो शुभ योग
 गणेश चतुर्थी पर इस बार  दो शुभ योग बन रहे हैं. चतुर्थी तिथि पर 04 फरवरी को सुबह 07 बजकर 08 मिनट से दोपहर 03 बजकर 58 मिनट तक रवि योग रहेगा. इसके बाद शाम को 07 बजकर 10 मिनट तक शिव योग रहेगा. ज्योतिषाचार्य डॉ. अरविंद मिश्र ने बताया कि रवि योग में पूजा और किए गए धार्मिक कार्यों का फल कई गुना मिलता है. वहीं गणेश जी के जन्मदिवस के मौके पर बन रहा शिव योग भी बेहद लाभकारी रहेगा. 

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गणेश जयंती का महत्व (Ganesh Jayanti Mahatva)
मान्यता है कि इस दिन भगवान गणेश का जन्म हुआ था. धार्मिक मान्यताओं के अनुसार इस दिन भगवान गणेश की विधिवत पूजा से व्यक्ति को पुण्य प्राप्त होता है.  अग्नि पुराण में इस दिन के बारे में उल्लेख है कि जो कोई भी व्यक्ति इस दिन विधिवत तरीके से भगवान गणेश की पूजा अर्चना करता है उसे मोक्ष की प्राप्ति होती है. गणेश जयंती के व्रत, पूजा से संकटों का नाश होता है. इसके साथ ही इस दिन की व्रत और उपवास के प्रभाव से व्यक्ति के मनोविकार दूर होते हैं और समस्त समस्याओं  का समाधान होता है.

 

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