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Maha Shivratri 2022: महाशिवरात्रि का पर्व फाल्गुन मास में कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी को मनाया जाता है. इस बार महाशिवरात्रि 01 मार्च दिन मंगलवार को मनाई जाएगी. इस पर्व को शिवभक्त श्रद्धाभाव और हर्षोल्लास के साथ मनाते हैं. जो भक्त इस दिन पूरे विधि-विधान से भगवान शिव की उपासना और व्रत करते हैं, तो उन्हें मनचाहे फल की प्राप्ति होती है. महाशिवरात्रि पर शिवजी के अभिषेक के साथ ही कुछ विशेष मंत्रों का जाप करने से भी शिवजी की कृपा प्राप्त होती है. आइये बताते हैं कि शिवजी को प्रसन्न करने के लिए कौन से मंत्रों का जाप करना है....
चमत्कारिक शिव मंत्र
1. ॐ शिवाय नम:
2. ॐ सर्वात्मने नम:
3. ॐ त्रिनेत्राय नम:
4. ॐ हराय नम:
5. ॐ इन्द्रमुखाय नम:
6. ॐ श्रीकंठाय नम:
7. ॐ वामदेवाय नम:
8. ॐ तत्पुरुषाय नम:
9. ॐ ईशानाय नम:
10. ॐ अनंतधर्माय नम:
11. ॐ ज्ञानभूताय नम:
12. ॐ अनंतवैराग्यसिंघाय नम:
13. ॐ प्रधानाय नम:
14. ॐ व्योमात्मने नम:
15. ॐ महाकालाय नम:
16. शिव गायत्री मंत्र : ॐ तत्पुरुषाय विद्महे, महादेवाय धीमहि, तन्नो रूद्र प्रचोदयात्।।
17. ॐ ह्रीं नमः शिवाय ह्रीं ॐ।
18. ॐ नमः शिवाय
19. ॐ ऐं ह्रीं शिव गौरीमय ह्रीं ऐं ऊं।
20. ॐ आशुतोषाय नमः
महाशिवरात्रि चार पहर की पूजा का समय (Mahashivratri 2022 Char Pahar Puja Timings)
1: पहले पहर की पूजा- 1 मार्च, 2022 शाम 6:21 मिनट से रात्रि 9:27 मिनट तक.
2: दूसरे पहर की पूजा- 1 मार्च रात्रि 9:27 मिनट से 12: 33 मिनट तक.
3: तीसरे पहर की पूजा- 1 मार्च रात्रि 12:33 मिनट से सुबह 3 :39 मिनट तक.
4: चौथे प्रहर की पूजा- 2 मार्च सुबह 3:39 मिनट से 6:45 मिनट तक.
व्रत पारण का शुभ समय- 2 मार्च, 2022 दिन बुधवार को 6 बजकर 46 मिनट तक रहेगा.
महाशिवरात्रि की पूजा विधि (Maha Shivratri 2022 Puja Vidhi)
शिव रात्रि को भगवान शंकर को पंचामृत से स्नान करा कराएं. केसर के 8 लोटे जल चढ़ाएं. पूरी रात्रि का दीपक जलाएं. चंदन का तिलक लगाएं. तीन बेलपत्र, भांग धतूर, तुलसी, जायफल, कमल गट्टे, फल, मिष्ठान, मीठा पान, इत्र व दक्षिणा चढ़ाएं. सबसे बाद में केसर युक्त खीर का भोग लगा कर प्रसाद बांटें.