
हस्त रेखा विज्ञान (Palmistry Lines or Palm Reading Science): व्यक्ति के लिए स्वास्थ्य ही जीवन का सबसे बड़ा धन माना जाता है. स्वस्थ व्यक्ति अपने दृढ निश्चय और कठोर मेहनत के बल पर अपने लक्ष्य को हासिल करने में सफल रहते हैं. हस्तरेखा शास्त्र (Hast Shastra) के अनुसार व्यक्ति के हाथ में भाग्य रेखा, जीवन रेखा की तरह ही स्वास्थ्य संबंधित रेखा भी होती है.
हस्तरेखा (Hast Rekha) के मुताबिक हाथ की स्वास्थ्य संबंधी रेखा से व्यक्ति की सेहत की जानकारी मिल सकती है. साथ ही किन बीमारियों की आशंका है इसका भी अंदाजा लगाया जा सकता है. आइए हस्तरेखा के माध्यम से जानते हैं कि हथेली का स्वास्थ्य से क्या कनेक्शन है.
हस्तरेखा के अनुसार, हथेली में कई ऐसी रेखाएं होती हैं, जो कुछ समय के लिए आती हैं. एक समय के उपरांत वे रेखाएं हाथ में नजर ही नहीं आतीं. ऐसे समय पर जातक को सतर्क रहना बहुत ज़रूरी है. ऐसी रेखाएं सेहत पर ध्यान देना इंगित करती हैं.
हस्तरेखा शास्त्रों के अनुसार यदि हथेली में बृहस्पति और बुध पर्वत के आस-पास की उंगलियां छोटी हों या फिर उन पर आड़ी रेखाएं हों या दोनों पर्वतों पर जाल बना हो तो ऐसे जातकों को स्वास्थ्य संबंधित परेशानियों का सामना करना पड़ता है. ऐसे व्यक्तियों को डायबिटीज़, लिवर या थायरॉइड से संबंधित रोग होने की संभावना होती है.
यदि जातक की उंगलियां ख़ासकर अंगूठा छोटा और पतला हो तो ऐसे जातक के आत्मविश्वास में कमी होती है. साथ रही जातक की इम्यूनिटी कमज़ोर होने के कारण रोग से लड़ने की क्षमता कम होती है. इसके अलावा कई ऐसे व्यक्तियों को संतान सुख की कमी रहती है.
किसी जातक की हृदय रेखा पर शुरू में ही ज़ंजीर बनती दिखती है या फिर उसकी शाखाएं नीचे की ओर निकली होती हैं तो ऐसे व्यक्ति को वेदों से संबंधित परेशानी होती है. इसके अलावा शनि पर्वत के नीचे द्वीप की ओर नीचे से आधी रेखा होने पर आंखों से संबंधित समस्या हो सकती है.
हस्तरेखा विज्ञान के अनुसार, स्वास्थ्य रेखा पर अगर क्रॉस का निशान है तो ये सेहत के लिए शुभ संकेत है. ऐसे में व्यक्ति अगर आकस्मिक घटना का शिकार होता है तो शारीरिक नुकसान से बचने की उम्मीद अधिक होती है.