Advertisement

यश और कीर्ति बढ़ाने के लिए आजमाएं ये उपाय

मनुष्य के जीवन में कुंडली की ग्रह दशा और हाथों की लकीरें बहुत असर डालती हैं. इसी तरह हमारे नाम की कीर्ति बढ़ने और उसका पतन होने में भी कुछ ग्रह अहम भूमिका निभाते हैं. 

सुबह उठकर हथेलियों को देखना फायदा देता है सुबह उठकर हथेलियों को देखना फायदा देता है
दीपल सिंह
  • नई दिल्ली,
  • 21 अप्रैल 2016,
  • अपडेटेड 12:27 PM IST

इंसान को बहुत कुछ पाने की इच्छा बनी रहती है. ऐसी ही एक इच्छा है यश और कीर्ति पाने की. माना जाता है कि जीवन में यश और अपयश के लिए कुछ ग्रहों की भूमिका होती है.

आइए जानें ग्रहों की इन दशाओं के बारे में....

यश और अपयश में ग्रहों की भूमिका :
- कुंडली के चौथे, सातवें और दसवें भाव से व्यक्ति के यश की स्थिति देखी जाती है.
- कभी-कभी द्वादश भाव से भी नाम और यश के बारे में पता चलता है.
- मूल रूप से चंद्रमा और शुक्र, यश प्रदान करने वाले ग्रह माने जाते हैं.
- हस्तरेखा विज्ञान में सूर्य को यश का ग्रह माना जाता है.
- शनि, राहु और खराब चंद्रमा, यश में बाधा पंहुचाने वाले ग्रह हैं.
- इसके अलावा कभी-कभी संगति से भी अपयश के योग बन जाते हैं.

Advertisement

जीवन में कब मिलता है यश :
- व्यक्ति की कुंडली में चौथा, सातवां और नौवां भाव मजबूत हो.
- चंद्रमा या शुक्र में से कोई एक काफी मजबूत हो.
- कुंडली में पंच महापुरुष योग हो.
- कुंडली में गजकेसरी योग हो.
- हाथ में दोहरी सूर्य रेखा हो या सूर्य पर्वत पर त्रिभुज हो.

जीवन में कब मिलता है अपयश :
- व्यक्ति का सूर्य या चन्द्रमा ग्रहण योग में होने से अपयश मिलता है.
- कुंडली का अष्टम या द्वादश भाव खराब हो.
- कुंडली में शुक्र या चन्द्रमा नीच राशि में हो.
- सूर्य रेखा टूटी हो या उस पर द्वीप हो.
- सूर्य पर्वत पर तिल या वलय हो.
- अंधेरे घर में रहने वालों को अपयश मिलने की संभावना बढ़ जाती है.

जीवन में यश पाने के लिए उपाय :
- सुबह उठकर सबसे पहले अपनी हथेलियों को देखें.
- इसके बाद माता-पिता और बड़े बुजुर्गों के पैर छुएं.
- रोज सुबह सूर्य को जल चढ़ाएं.
- इसके बाद 'ऊं भास्कराय नमः' मंत्र का 108 बार जाप करें.
- लाल चन्दन का तिलक अपने कंठ पर लगाएं.

Advertisement


अपयश से बचने के लिए उपाय :
- हर मंगलवार को हनुमान जी को सिन्दूर (चोला) चढ़ाएं.
- हर सुबह शिव तांडव स्तोत्र का पाठ करें.
- रविवार को तांबे का एक सूर्य लाल धागे में डालकर गले में पहनें.
- हर अमावस्या को चावल, दाल, आटा और कच्ची सब्जियों का दान करें.
- सोते समय सिर पूर्व दिशा की ओर करें.

Read more!
Advertisement

RECOMMENDED

Advertisement