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साइंस न्यूज़

Alaska Earthquake: 75 साल में चौथी बार 8 तीव्रता के ऊपर का भूकंप

aajtak.in
  • एंकरेज,
  • 29 जुलाई 2021,
  • अपडेटेड 8:51 PM IST
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अलास्का में गुरुवार को 8.2 तीव्रता का भूकंप आया. अमेरिका के हवाई द्वीप तक सुनामी का अलर्ट जारी किया गया. जापान तक सुनामी की लहरें जा सकती हैं या नहीं इसकी जांच हो रही है. क्योंकि अलास्का में बड़े भूकंपों का इतिहास रहा है. पिछले 75 सालों यानी 1965 से अब तक यहां पर 4 बार रिक्टर पैमाने पर 8 के ऊपर की तीव्रता के भयावह भूकंप आ चुके हैं. जो कि इतिहास के सबसे भयानक भूकंपों की सूची में दर्ज है. (फोटोः ट्विटर/लूसी मोईटोई)

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यूएस जियोलॉजिकल सर्वे ने बताया कि अलास्का के पेरिविले से पूर्व-दक्षिणपूर्व में 91 किलोमीटर दूर इस 8.2 तीव्रता वाले भूकंप का केंद्र था. समुद्र की सतह से इसकी गहराई 46 किलोमीटर नीचे थी. इससे ठीक पहले आधे घंटे के अंतर पर इसी जगह पर दो भूकंप आए थे. इनकी तीव्रता 6.2 और 5.6 थी. पैसिफिक सुनामी वॉर्निंग सेंटर ने सुनामी लहरों के उठने की चेतावनी जारी की है. जिससे अमेरिका के गुआम और अमेरिकन सामोआ तक जाने की आशंका है. (फोटोः USGS)

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अलास्का में सबसे भयावह भूकंप 4 फरवरी 1965 में आया था. यह भूकंप अलुशियन आइलैंड्स (Aleutian Islands) और रैट आइलैंड्स (Rat Islands) के पास आया था. रिक्टर पैमाने पर इसकी तीव्रता 8.7 थी. इसकी गहराई 30.3 किलोमीटर थी. उस समय आई सुनामी की लहरें करीब 10.7 मीटर ऊंची थीं. इससे पहले अलास्का में अलुशियन आइलैंड्स और एड्रियन ऑफ आइलैंड्स में 8.6 तीव्रता का भूकंप 9 मार्च 1957 में आया था. (प्रतीकात्मक तस्वीरः गेटी)

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1957 में आए भूकंप से सड़कों पर 4.5 मीटर गहरी दरारें पड़ गई थीं. 15 मीटर ऊंची सुनामी की लहरों ने उमनक आईलैंड, अडक आइलैंड, सैन डिएगो बे, चिली, अल-सल्वाडोर और जापान तक तबाही मचाई थी. 200 साल से सुस्त पड़ा माउंट सेविडॉफ ज्वालामुखी फट पड़ा था. हवाई द्वीप पर दो गांव पूरी तरह से नष्ट हो गए थे. इसके बाद अगले 24 घंटे तक 300 झटके महसूस किए गए. (प्रतीकात्मक तस्वीरः गेटी)

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इससे पहले 1 अप्रैल 1946 में अलास्का के दक्षिणी इलाके में स्थित उनीमक आईलैंड पर 8.6 तीव्रता का भूकंप आया था. इस भूकंप से उठी सुनामी की वजह से उनीमक आइलैंड पर बना लाइट हाउस टूट गया था. उसके साथ पांच लोग बह गए थे. जिन सुनामी की लहरों ने इस लाइट हाउस को तोड़ा था, वो 35 मीटर ऊंची थी. इसकी वजह से हवाई द्वीप पर 159 लोगों की जान चली गई थी. उत्तरी और दक्षिणी अमेरिकी के पश्चिमी तटों पर भयावह तबाही देखने को मिली थी. (प्रतीकात्मक तस्वीरः गेटी)

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अलास्का में आज आए भूकंप को लेकर कुछ लोग सोशल मीडिया पर लिख रहे हैं कि अलास्का के तट से  482 किलोमीटर दूर करीब 40 फीट ऊंची सुनामी लहरें देखी गई हैं. हालांकि अभी तक यूएसजीएस ने इसकी पुष्टि नहीं की है. क्योंकि सुनामी का अलर्ट कुछ घंटे बाद वापस ले लिया गया था. लेकिन अलास्का प्रायद्वीप पर के सभी सुनामी स्टेशन ने सायरन बजा दिया था. जिसकी वजह से हजारों लोग तत्काल ऊंचे इलाकों की तरफ बढ़ गए. यह प्रक्रिया करीब दो घंटे तक चलती रही. 

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8.2 तीव्रता के भूकंप के बाद अलास्का में करीब 24 बार झटके आए. जिन्हें पूरे प्रायद्वीप पर महसूस किया गया. अलास्का में भूकंप आने का बड़ा और भयावह इतिहास रहा है. द अलास्का अर्थक्वेक सेंटर के मुताबिक पिछले साल यानी 2020 में अलास्का में 49 हजार भूकंप महसूस किए गए थे. (फोटोः गेटी)

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आज आए भूकंप की वजह से अलास्का के सैंड प्वाइंट (Sand Point), ओल्ड हार्बर (Old Harbor), किंग कोव (King Cove), कोडिएक (Kodiak), उनालास्का (Unalaska) और एलिटक बे (Alitak Bay) में लहरों की ऊंचाई में करीब एक फीट अधिक ऊंचाई रिकॉर्ड की गई. फिलहाल इस भयावह तीव्रता वाले भूकंप से नुकसान की कोई खबर नहीं है. हालांकि, भूकंप आते ही अमेरिका के कैलिफोर्निया, ओरेलॉन, वॉशिंगटन, कनाडा के ब्रिटिश कोलंबिया को सुनामी अलर्ट दे दिया गया था. (प्रतीकात्मक फोटोःगेटी)

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NTWC के सुनामी वॉर्निंग कॉर्डिनेटर डेव स्नाइडर ने कहा कि अलास्का के कुछ हिस्सों में छोटे-मोटे नुकसान हुए हैं. लेकिन कोई घबराने वाली बात नहीं है. कहीं बड़ी सुनामी या बड़े नुकसान की खबर नहीं आई है. क्योंकि इस भूकंप की गहराई बहुत ज्यादा थी, इसलिए बड़े नुकसान की आशंका कम है. हालांकि, 8.2 तीव्रता का भूकंप दुनिया के किसी भी कोने में सुनामी की बड़ी लहरें बना सकता है. खासतौर से अलास्का में. (प्रतीकात्मक फोटोःगेटी)

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यह भूकंप समुद्र के नीचे हिंचिनब्रुक एंट्रेंस (Hinchinbrook Entrance) से उनीमक पास (Unimak Pass) और उनीमक पास से सामल्गा पास (Samalga Pass) में स्थित टेक्टोनिक प्लेटों के हिलने की वजह से हुआ है. अभी तक वैज्ञानिक यह पता नहीं कर पाए हैं कि प्लेट एकदूसरे पर चढ़ी हैं. या सिर्फ टकराहट थी. क्योंकि प्लेट चढ़ती तो भयानक सुनामी लहरें आती. लेकिन इसकी पुष्टि नहीं हो पाई है. (फोटोः ट्विटर/Xioumoristas)

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