रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (DRDO) ने 11 अगस्त 2021 को स्वदेशी इंजन के साथ निर्भय क्रूज मिसाइल (Nirbhay Cruise Missile) का सफल परीक्षण किया. इस मिसाइल में स्वदेशी इंजन लगाने से इसकी ताकत और बढ़ गई है. पिछले साल अक्टूबर के महीने में निर्भय मिसाइल का परीक्षण 8 मिनट की उड़ान के बाद तकनीकी कारणों से रद्द कर दिया गया था. लेकिन इस बार इसने सफलता हासिल की. (फोटोः गेटी)
पिछले साल के विफल मिशन के बाद DRDO ने निर्भय क्रूज मिसाइल में तकनीकी बदलाव किए. 1000 किलोमीटर की रेंज वाली इस मिसाइल का बुधवार को ओडिशा के चांदीपुर रेंज में सफल परीक्षण किया गया. मिसाइल को सुबह 9.55 बजे लॉन्च किया गया. इसने 100 किलोमीटर की उड़ान भरी. (फोटोः गेटी)
डीआरडीओ के एक अधिकारी ने कहा कि इस बार हमें आंशिक सफलता ही मिली है. मिसाइल के नियंत्रण पैनल (Control Panel) में कुछ मामूली गड़बड़ी महसूस हुई है. लेकिन स्वदेश में बने बूस्टर इंजन ने अपना 100 फीसदी दिया. अगल परीक्षण युद्धस्तर की तैयारियों के साथ जल्द से जल्द किया जाएगा. निर्भय मिसाइल के जिस संस्करण का परीक्षण चल रहा है, उसे वायुसेना और नौसेना को दिया जाएगा. (फोटोः गेटी)
निर्भय क्रूज मिसाइल (Nirbhay Cruise Missile) ने इस परीक्षण के दौरान 0.7 मैक से 0.9 मैक (864 KM से 1111 KM प्रतिघंटा) की गति हासिल की. इस मिसाइल में सी-स्किमिंग (Sea Skimming) और टेरेन हगिंग कैपेबिलिटी (Terrain Hugging Capability) है. यानी यह मिसाइल समुद्री पानी और जमीन से थोड़ा ऊपर उड़कर राडार को चकमा दे सकता है. यह ऐसी स्थिति होती है जिसमें उसपर निशाना लगाकर इसे निष्क्रिय करना बेहद कठिन हो जाता है. (फोटोः DRDO)
निर्भय क्रूज मिसाइल (Nirbhay Cruise Missile) दो स्टेज की मिसाइल है. पहले स्टेज में ठोस और दूसरे स्टेज में तरल ईंधन का उपयोग किया जाता है. यह मिसाइल 300 किलोग्राम तक के परंपरागत हथियार को ले जा सकती है. इसकी अधिकतम रेंज 1500 किलोमीटर है. यह मिसाइल जमीन से कम से कम 50 मीटर ऊपर और अधिकतम 4 किलोमीटर ऊपर उड़कर टारगेट को ध्वस्त कर सकती है. (फोटोः गेटी)
निर्भय क्रूज मिसाइल (Nirbhay Cruise Missile) में ऐसी प्रणाली भी है कि यह रास्ते में अपनी दिशा बदल सकता है. यानी चलते-फिरते टारगेट को भी नष्ट कर सकता है. यह समुद्र और जमीन दोनों स्थानों से मिसाइल लॉन्चर्स के जरिए दागी जा सकती है. फिलहाल इस मिसाइल को थल सेना को दिया जा रहा है. ताकि सेना इसका तीन और टेस्ट कर सके. ऐसी उम्मीद जताई जा रही है कि सेना में शामिल होने के बाद इन मिसाइलों को लाइन ऑफ एक्चुअल कंट्रोल (LAC) पर तैनात किया जाएगा. यानी चीन से सटी सीमाओं पर इसकी तैनाती होगी. (फोटोः गेटी)
निर्भय क्रूज मिसाइल (Nirbhay Cruise Missile) मिसाइल 6 मीटर लंबी और 0.52 मीटर चौड़ी है. इसके पंखों की कुल लंबाई 2.7 मीटर है. ऐसा माना जा रहा है कि इस मिसाइल में ऐसी तकनीक भी लगाई गई है, जिसके जरिए दुश्मन के टारगेट को खत्म करने से पहले उसकी तस्वीर और वीडियो खींचकर ये कंट्रोल रूम तक भेज देगी. इस मिसाइल में स्वदेशी माणिक टर्बोफैन इंजन का उपयोग किया गया है. (फोटोः गेटी)
इससे पहले 23 जुलाई को भारत ने न्यू जेनरेशन आकाश मिसाइल (Akash-NG) मिसाइल का सफल परीक्षण किया था. यह जमीन से हवा में मार करने वाली मिसाइल है. इसे एयर मिसाइल डिफेंस सिस्टम में शामिल किया जाएगा. (फोटोः IDU)