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बृहस्पति और उसके चांद लेंगे James Webb Space Telescope की परीक्षा

जेम्स वेब स्पेस टेलीस्कॉप (James Webb Space Telescope) अपनी पहली तस्वीरें साझा करने के बाद, अगले प्रोजेक्ट की तरफ रुख करने वाला है. यह टेलिस्कोप बृहस्पति (Jupiter) ग्रह का अध्ययन करेगा और इस ग्रह से जुड़े सवालों के जवाब खोजेगा.

aajtak.in
  • वॉशिंगटन,
  • 13 जुलाई 2022,
  • अपडेटेड 3:48 PM IST
  • बृहस्पति से जुड़े रहस्य खोजेगा Webb टेलिस्कोप
  • ग्रेट रेड स्पॉट के ऊपर के वातावरण का भी पता लगाएगा

जेम्स वेब स्पेस टेलीस्कॉप (James Webb Space Telescope) ने हाल ही में सौर मंडल की बेहद अनोखी तस्वीरें साझा की हैं. जल्द ही यह टेलिस्कोप सौर मंडल के राजा कहे जाने वाले बृहस्पति (Jupiter) ग्रह की तरफ अपना रुख करेगा. 

बृहस्पति रहस्यों से भरा ग्रह है. असल में यह गैस का गोला है, इसकी सतह कठोर नहीं है. इसके छल्ले हमेशा से ही आश्चर्च का केंद्र रहे हैं. बृहस्पति से जुड़े कई सवाल हैं, जिनके जवाब आज तक सामने नहीं आए हैं. जैसे इसके अशांत वातावरण में ग्रेट रेड स्पॉट (Great Red Spot) जैसे बड़े तूफान कैसे बनते हैं. 

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बृहस्पति से जुड़े रहस्य खोजेगा Webb टेलिस्कोप  (Photo: NASA)

2020 के कंसोर्टियम स्टेटमेंट में Webb के होने वाले बृहस्पति के अध्ययनों के बारे में, कैलिफोर्निया यूनिवर्सिटी के एक प्लेनेटरी साइंटिस्ट और शोधकर्ता इमके डी पाटर (Imke de Pater) ने कहा था कि यह वास्तव में एक चुनौतीपूर्ण प्रयोग होगा. उन्होंने कहा कि बृहस्पति बहुत चमकदार है और Webb के उपकरण इतने संवेदनशील हैं, कि इस चमकदार ग्रह और उसके धुंधले छल्लों और चंद्रमाओं को वेब जिस तरह ऑबज़र्व करेगा, वह खुद Webb के लिए भी एक परीक्षा ही होगी. 

(Photo: NASA)

बृहस्पति के लिए Webb के उपकरणों की सटीक जांच की ज़रूरत होगी. बृहस्पति तेजी से घूमता है, जिससे ऑब्ज़र्व करने के लिए टाइम लैप्स (Time-lapse) इमेज लेना मुश्किल होता है. वैज्ञानिकों का कहना है कि इन परेशानियों से निपटने के बाद, वे वेब के अनोखे 18-सेगमेंट मिरर (18-segment mirror) और चार इनफ्रारेड उपकरणों से मिलने वाले नए इनसाइट का इंतज़ार करेंगे.

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शोध में खासतौर पर बृहस्पति का वायुमंडलीय अध्ययन किया जाएगा. टेलिस्कोप ध्रुवीय क्षेत्रों में होने वाले रहस्यमय चक्रवात तूफानों का अध्ययन करेगा. साथ ही, नासा के जूनो स्पेसक्राफ्ट (Juno spacecraft) की मदद से वहां की हवा, बादल, गैस और तापमान की जांच भी की जाएगी. वेब घूमते हुए ग्रेट रेड स्पॉट के ठीक ऊपर के वातावरण की जांच करेगा, जो बदलता रहता है.

 

बृहस्पति के बड़े चंद्रमा भी हैं. स्टडी के पहले हिस्से में बर्फीले गेनीमेड (Ganymede) और ज्वालामुखी Io की जांच की जाएगी, ताकि यह पता चल सके कि ये दुनिया कैसे बनी और समय के साथ कैसे बदल गई. Webb गैनीमेड की सतह के नीचे संदिग्ध खारे पानी का पता भी लगाएगा.


 

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