
क्रिकेट साउथ अफ्रीका (CSA) ने न्यूजीलैंड के खिलाफ अगले महीने दो मैचों की सीरीज के लिए दूसरे दर्जे की टेस्ट टीम की घोषणा की है, इस टीम में एक नए कप्तान सहित सात अनकैप्ड खिलाड़ी शामिल हैं. इसी मुद्दे पर ऑस्ट्रेलिया के दिग्गज खिलाड़ी स्टीव वॉ बुरी तरह से भड़क उठे. वॉ की कप्तानी में ऑस्ट्रेलिया ने 1999 में वर्ल्ड कप जीता था.
वॉ ने क्रिकेट दक्षिण अफ्रीका की इस हरकत को 'अपमानजनक' करार दिया है. वहीं वॉ ने इस मामले में अब अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (ICC) और बीसीसीआई (BCCI) सहित शीर्ष क्रिकेट बोर्डों से आगे आकर टेस्ट क्रिकेट को बचाने का आग्रह किया है.
दरअसल, साउथ अफ्रीका ने न्यूजीलैंड के खिलाफ अगले महीने होने वाली दो मैचों की सीरीज के लिए दूसरे दर्जे की टेस्ट टीम की घोषणा की, जिसमें एक नए कप्तान सहित सात अनकैप्ड खिलाड़ी शामिल हैं.
दक्षिण अफ्रीका के टॉप खिलाड़ी, जिनमें से अधिकांश वर्तमान में भारत के खिलाफ घरेलू सरजमी पर दो मैचों की सीरीज का हिस्सा हैं. इनमें से कई को इंडियन प्रीमियर लीग द्वारा शुरू की गई देश की अपनी फ्रेंचाइजी-आधारित टी20 लीग SA20 के दूसरे सीजन में खेलने के लिए अनुबंधित किया गया है. यह लीग पिछले साल शुरू हुई थी.
अब लीग के मैचों की तारीख और न्यूजीलैंड दौरे की तारीख आपस में टकरा रही है. सीएसए के नियमों के आधार पर, एसए20 फ्रेंचाइजी के साथ अनुबंध पर मौजूद खिलाड़ी टेस्ट के लिए चयन के लिए पात्र नहीं हैं, इस प्रकार बोर्ड को एक कमजोर टीम का चयन करना पड़ा.
अब इसी पूरे मसले पर वॉ भड़क उठे, उन्होंने सिडनी मॉर्निंग हेराल्ड को बताया, 'जाहिर है, उन्हें कोई परवाह नहीं है. अगर मैं न्यूजीलैंड होता, तो मैं सीरीज भी नहीं खेलता. मुझे नहीं पता कि वे क्यों खेल रहे हैं. यह न्यूजीलैंड क्रिकेट के प्रति सम्मान की कमी को दर्शाता है'.
'ब्रैडमैन, ग्रेस की परंपरा हो जाएगी अप्रासंगिक '
ऑस्ट्रेलियाई दिग्गज ने सबसे पहले इस मामले पर अपनी चिंता व्यक्त करने के लिए सोशल मीडिया ऐप इंस्टाग्राम का सहारा लिया था. वॉ को भय था कि डॉन ब्रैडमैन और डब्ल्यूजी ग्रेस जैसे महान खिलाड़ियों की विरासत, जिन्होंने खेल को गौरवान्वित किया, जल्द ही अप्रासंगिक हो जाएगी.
वॉ ने इस पोस्ट में लिखा था 'क्या यह टेस्ट क्रिकेट की मृत्यु का एक निर्णायक क्षण है. निश्चित तौर पर आईसीसी को भारत, इंग्लैंड और ऑस्ट्रेलिया के क्रिकेट बोर्डों के साथ क्रिकेट के प्योरेस्ट फॉर्म की रक्षा के लिए कदम उठाना चाहिए. इतिहास और परंपरा भी मायने रखता है.
'टेस्ट क्रिकेट के लिए क्यों नहीं हैं रेगुलेशन फीस'
वॉ ने कहा अगर आईसीसी या कोई जल्द ही टेस्ट क्रिकेट के हित के लिए कोई कदम नहीं उठाता है तो मानिए आप खुद को सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ियों के खिलाफ परख नहीं रहे हैं. मुझे मालूम है कि खिलाड़ी टेस्ट क्रिकेट खेलने क्यों नहीं आते हैं, क्योंकि उन्हें उचित भुगतान नहीं मिल रहा है. मुझे समझ में नहीं आता कि आईसीसी या टॉप देश, जो बहुत पैसा कमा रहे हैं, उनके पास टेस्ट मैचों के लिए रेगुलेशन फीस क्यों नहीं है. इसी कारण खिलाड़ी टी10 या टी20 खेलें रहे हैं.
वॉ यहीं नहीं रुके और कहा कि यह सिर्फ दक्षिण अफ्रीका ही नहीं है, वॉ ने यहां तक बताया कि न तो पाकिस्तान और न ही वेस्टइंडीज ने टेस्ट सीरीज के लिए अपनी पूरी ताकत वाली टीमें ऑस्ट्रेलिया भेजीं, उन्हें डर है कि यह प्रवृत्ति जारी रहेगी.
वेस्टइंडीज और पाकिस्तान को भी वॉ ने लताड़ा
वॉ ने कहा, यह बिल्कुल स्पष्ट है कि समस्या क्या है. वेस्टइंडीज अपनी पूरी ताकत वाली टीम (इस गर्मी में ऑस्ट्रेलिया में) नहीं भेज रहा है. उन्होंने पिछले कुछ वर्षों से पूरी ताकत वाली टेस्ट टीम नहीं चुनी है. निकोलस पूरन जैसा कोई वास्तव में एक टेस्ट बल्लेबाज है, वो टेस्ट क्रिकेट नहीं खेलता है. जेसन होल्डर शायद उनका सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ी है, वो अब नहीं खेल रहा है. यहां तक कि पाकिस्तान ने भी पूरी टीम (ऑस्ट्रेलिया में) नहीं भेजी.