
Asia Cup 2023: एशियन क्रिकेट काउंसिल (ACC) ने इसी साल होने वाले एशिया कप की तारीखों का ऐलान कर दिया है. इसी के साथ भारत और पाकिस्तान के बीच चलते आ रहे कुछ मसलों में से एक सॉल्व हो गया है. इस बार हाइब्रिड मॉडल के आधार पर एशिया कप होना है, जिससे पाकिस्तान भी खुश नजर आ रहा है. तभी तो पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड (PCB) अध्यक्ष नजम सेठी ने इसके लिए एसीसी अध्यक्ष जय शाह की जमकर तारीफ की है.
मगर यहां बता दें एसीसी के लिए एशिया कप की तारीखें और वेन्यू तय करना किसी टेढ़ी खीर से कम नहीं था. दरअसल, एशिया कप इसी साल पाकिस्तान की मेजबानी में होना तय है. जबकि वनडे वर्ल्ड कप साल के आखिर में भारत की मेजबानी में होना है.
रमीज राजा के कार्यकाल में शुरू हुआ था विवाद
इन दोनों ही टूर्नामेंट को लेकर भारत और पाकिस्तान के बीच कुछ महीनों से काफी ठनाठनी चल रही है. पिछले साल पाकिस्तानी बोर्ड के अध्यक्ष रमीज राजा थे. उसी दौरान बीसीसीआई सचिव जय शाह ने ऐलान कर दिया था कि भारतीय टीम एशिया कप के लिए पाकिस्तान दौरे पर नहीं जाएगी. बस यही बात पाकिस्तान को इतनी बुरी लगी कि उसने भी कह दिया था कि पाकिस्तान टीम भी वर्ल्ड कप के लिए भारत नहीं आएगी.
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भारतीय बोर्ड अपना बयान देने के बाद से ही चुप था, लेकिन पाकिस्तान इस पर तिलमिलाया हुआ था. वहां से लगातार बयानबाजी चल रही थी. इन्हीं सब के बीच पाकिस्तान बोर्ड में बड़ा फेरबदल हुआ और रमीज राजा को अपनी कुर्सी गंवानी पड़ी.
इसी विवाद में रमीज को कुर्सी गंवानी पड़ी
दिसंबर 2022 के आखिर में पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड के अध्यक्ष रमीज राजा को उनके पद से बर्खास्त कर दिया गया था. रमीज राजा लगातार अपने बयानों के कारण विवादों में थे, इस बीच ये कड़ा एक्शन लिया गया. रमीज की जगह नजम सेठी को पाकिस्तान बोर्ड का नया अध्यक्ष बनाया गया. तब पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने पीसीबी की इस नई नियुक्ति पर मुहर लगाई थी.
पाकिस्तानी मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, रमीज को इसलिए भी हटाया गया था क्योंकि वो अपने बयानों के कारण काफी सुर्खियों में थे. उन्होंने भारत में होने वाले वनडे वर्ल्ड कप 2023 के लिए भी धमकी भरा लहजा अपनाया था और पाकिस्तान टीम के शामिल ना होने की बात कही थी. मगर जब नजम सेठी ने पद संभाला तो उन्होंने बगैर तल्ख रुख अपनाए आराम से काम लिया और एसीसी की आपातकालीन बैठक कराने का आग्रह किया. साथ ही ICC से भी मामले में मदद मांगी.
पहले पाकिस्तान का हाइब्रिड मॉडल मंजूर नहीं किया था
दरअसल, सूत्रों के मुताबिक, बीसीसीआई हमेशा से ही चाहता था कि एशिया कप पाकिस्तान से बाहर हो. मगर पीसीबी ऐसा नहीं चाहता था. इन सबके बीच नजम सेठी ने एक नया फॉर्मूला निकाला. उन्होंने एसीसी की बैठक में हाइब्रिड मॉडल प्रस्तावित किया. यानी कि भारतीय टीम एशिया कप में अपने मुकाबले पाकिस्तान से बाहर किसी दूसरे देश में खेल ले, जबकि पाकिस्तान में भी कुछ मैच कराए जाएं.
नजम सेठी ने अपना यह हाइब्रिड मॉडल एसीसी की बैठक में सामने रखा. मगर सूत्रों की मानें तो पहली बैठक में उनके प्रस्ताव को ठुकरा दिया गया था. इसके बाद पीसीसी ने कड़ा रुख अपनाते हुए कहा कि यदि एशिया कप की मेजबानी पाकिस्तान से छिनती है, तो वह भी वर्ल्ड कप के अपने मैच भारत से बाहर किसी दूसरे वेन्यू पर ही खेलेगा. पीसीबी के इस बयान से ICC के लिए मामला और भी पेंचिदा हो गया था.
ICC को मजबूर होकर बीच में आना पड़ा
ऐसे में ICC को मजबूर होकर बीच में आना पड़ा. आईसीसी और खासकर बीसीसीआई नहीं चाहता था कि वनडे वर्ल्ड कप हाइब्रिड मॉडल जैसा कराया जाए. ऐसे में इंटरनेशनल क्रिकेट काउंसिल यानी ICC के अध्यक्ष ग्रेग बार्कले और सीईओ ज्योफ एलार्डिस ने मई के आखिरी में दो दिवसीय पाकिस्तानी दौरा किया.
ICC अध्यक्ष और सीईओ पाकिस्तानी बोर्ड से यह आश्वासन लेने के लिए लाहौर पहुंचे थे कि वो पाकिस्तान टीम को इस साल वनडे वर्ल्ड कप के लिए भारत दौरे पर भेजेगा. साथ ही यह आश्वासन भी चाहते हैं कि पाकिस्तान अपने मैचों के लिए हाइब्रिड मॉडल लागू करने पर जोर नहीं देगा. ICC अध्यक्ष और सीईओ का यह दौरा रंग भी लाया और पाकिस्तान ने वर्ल्ड कप में शामिल होने और भारत में ही मैच खेलने पर हामी भर दी.
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पाकिस्तान को आईसीसी की बात मानकर क्या फायदा?
अब यहां देखने वाली बात ये भी है कि इसमें पाकिस्तान का क्या फायदा रहा और वो इतनी जल्दी कैसे मान गया? यहां बता दें कि पाकिस्तानी बोर्ड ने भी आईसीसी अधिकारियों से शर्त रखी थी कि वो ACC से बात करें और उन्हें मनाएं कि एशिया कप को हाइब्रिड मॉडल के तहत कराने पर मंजूरी मिल जाए.
दूसरी ओर ACC और BCCI भी पाकिस्तानी बोर्ड और आईसीसी अधिकारियों के बीच बातचीत का नतीजा निकलने का इंतजार कर रहे थे. फिर क्या, ICC अधिकारियों ने बात की और एसीसी मान गया. इसी के तहत ही एसीसी अध्यक्ष जय शाह ने एशिया कप के हाइब्रिड मॉडल को मंजूरी दे दी.
इसके बदले में पाकिस्तान ने भी भारत आकर वर्ल्ड कप खेलने की हां भर दी. बस इसी तरह आईसीसी की मध्यस्थता के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच यह एशिया कप और वनडे वर्ल्ड कप का मसला सुलझ सका. अब एशिया कप के फुल शेड्यूल और वनडे वर्ल्ड कप के शेड्यूल का इंतजार है.