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मनीष पांडे और सरफराज खान होंगे भारत के अगले बड़े सितारे

मनीष पांडे और सरफराज खान पिछले कुछ सालों से हर लेवल पर रन बना रहे हैं. 27 वर्षीय मनीष पांडे ने 75 फर्स्ट क्लास मैचों में 50 की औसत से पांच हजार से ज्यादा रन बनाए हैं.

हर फॉर्मेट में मनीष पांडे फिट हैं हर फॉर्मेट में मनीष पांडे फिट हैं
अमित कुमार दुबे
  • नई दिल्ली,
  • 20 अप्रैल 2016,
  • अपडेटेड 5:25 PM IST

टी20 क्रिकेट का महाकुंभ आईपीएल शुरू हो चुका है. कुछ नई टीमें तो कुछ नए चेहरे इस सीजन अपनी छाप छोड़ने के लिए बेताब हैं. वहीं कुछ खिलाड़ियों की कोशिश है कि जो रेप्युटेशन उन्होंने पिछले कुछ सालों में बनाई है उसको बरकरार रखा जाए, ताकि आने वाले समय में वह अपनी दावेदारी राष्ट्रीय टीम में पेश कर सकें.

 रैना और युवराज का करियर ले रहा है आखिरी सांसें
एक समय टीम इंडिया के सबसे आक्रामक बल्लेबाजों में शुमार किये जाने वाले युवराज सिंह और सुरेश रैना ने पिछले कुछ समय में अपने कद के हिसाब से प्रदर्शन नहीं किया है. सुरेश रैना का प्रदर्शन एशिया कप से लेकर वर्ल्ड टी20 तक लगातार गिरता ही नजर आया. शॉर्ट गेंद के खिलाफ कमजोरी रैना अपने दस साल के करियर में भी खत्म नहीं कर पाए. हालांकि युवराज को जब-जब मौके मिले उन्होंने अच्छा खेलने की पूरी कोशिश की. लेकिन इस बात से भी इनकार नहीं किया जा सकता कि युवराज की उम्र, उनकी फिटनेस और उनका शरीर अब उनके प्रदर्शन के आड़े आने लगा है. फॉर्म, फिटनेस और उम्र को ध्यान में रखते हुए अब यह बात कही जा सकती है कि इन दोनों खिलाड़ियों का करियर अपने अंतिम पड़ाव पर है.

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मनीष पांडे और सरफराज खान का लगातार अच्छा प्रदर्शन
किसी भी टैलेंट को सही समय पर सही जगह न लगाया जाए तो वह बर्बाद हो जाता है. मनीष पांडे और सरफराज खान पिछले कुछ सालों से हर लेवल पर रन बना रहे हैं. 27 वर्षीय मनीष पांडे ने 75 फर्स्ट क्लास मैचों में 50 की औसत से पांच हजार से ज्यादा रन बनाए हैं. वहीं महज 18 साल की उम्र में ही सरफराज खान ने बड़े-बड़े दिग्गजों का दिल जीता है और लगातार रन भी बनाए हैं. हालांकि मनीष का चयन टीम इंडिया में हो चुका है और उन्होंने ऑस्ट्रेलिया में शतक बनाकर अपनी दावेदारी भी मजबूत कर ली है. लेकिन रैना और युवराज के कारण उनको वर्ल्ड टी20 और एशिया कप की टीम में जगह नहीं मिल पाई थी. वहीं सरफराज खान राहुल द्रविड़ की देखरेख में अंडर 19 वर्ल्ड कप में भारत के लिए सबसे ज्यादा रन बनाने वाले बल्लेबाज रहे. सरफराज ने पूरे वर्ल्ड कप में 70 की औसत से 355 रन बनाए और ओवरऑल सबसे ज्यादा रन बनाने वालों की फेहरिस्त में वह दूसरे नंबर पर रहे. आईपीएल और रणजी ट्रॉफी के पहले सीजन में भी सरफराज का बल्ला खूब चला है.

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कुछ खिलाड़ी अंतरराष्ट्रीय स्तर के लिए जल्द ही हो जाते हैं तैयार
कुछ लोगों की सोच होती है कि युवा खिलाड़ियों का चयन राष्ट्रीय टीम में तब होना चाहिए जब वो घरेलू मैचों की भट्टी में पूरी तरह से पक चुका हो. लेकिन कुछ खास प्रतिभाएं ऐसी होती हैं जो तमाम धारणाओं को तोड़ते हुए आगे बढ़ते हैं और खूब कामयाबी बटोरते हैं. सचिन तेंदुलकर, विराट कोहली, वसीम अकरम, वकार युनुस, स्टीव वॉ, मोहम्मद आमिर और इरफान पठान जैसे कई क्रिकेटर हैं जसने ज्यादा फर्स्ट क्लास क्रिकेट खेले बिना ही अंतरराष्ट्रीय स्तर पर खूब धूम मचाया.

हर फॉर्मेट का खिलाड़ी है सरफराज
छोटे से कद के सरफराज खान ने जिस अंदाज में बड़े-बड़े दिग्गज गेंदबाजों की धुनाई की है उससे एक बात तो साफ है कि ये बल्लेबाज कुछ खास हुनर का मालिक है. लेकिन कुछ लोग सरफराज को सिर्फ टी20 का खिलाड़ी का मानते हैं, जबकि यह सच नहीं है. सरफराज ने जहां आईपीएल में अपनी आक्रामकता से गेल, डिविलियर्स और कोहली जैसे खिलाड़ियों की श्रेणी में खुद को ला खड़ा किया है, वहीं अपने धैर्य से अंडर 19 वर्ल्ड कप में टीम इंडिया को फाइनल तक पहुंचाया. सुनील गावस्कर, सचिन तेंदुलकर, विराट कोहली, शेन वॉटसन, क्रिस गेल, डेविड वार्नर जैसे दिग्गज सरफराज की तारीफ में कसीदे पढ़ चुके हैं. सरफराज जब मुंबई छोड़कर उत्तर प्रदेश के लिए रणजी खेलने आए तो उन्होंने पहले ही मैच में शतक बनाकर खुद को साबित कर दिया कि वो टेस्ट मैच भी खेल सकते हैं.

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मनीष और सरफराज हर जगह फिट
मनीष पांडे और सरफराज खान की खास बात यह है कि वह किसी भी नंबर पर बल्लेबाजी कर सकते हैं. इन दोनों के अंदर भी राहुल द्रविड़ और अजिंक्या रहाणे वाली क्षमता है. चाहे उनसे ओपन करा लें या मिडिल ऑर्डर में खिला लें वह हर जगह खेलने के लिए तैयार हैं. तमाम बातों में एक बात यह है कि इन प्रतिभाओं को सही समय पर मौका देने की जरूरत है. क्योंकि अगर सचिन को कम उम्र में ही मौका न मिला होता तो वह आज सचिन तेंदुलकर न होते.

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