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IPL में नेट बॉलर्स को मिलती है कितनी फीस? जानकर चौंक जाएंगे आप

इंडियन प्रीमियर लीग (IPL) 2023 का आगाज 31 मार्च को होने वाला है. पहला मैच चेन्नई सुपर किंग्स और गुजरात टाइटन्स के बीच होगा. आईपीएल में खिलाड़ियों को कितनी फीस मिलती है, तो यह नीलामी और कॉन्ट्रैक्ट के जरिए तय हो जाता है. मगर नेट बॉलर्स को कितनी फीस मिलती है, ये अब तक शायद ही किसी को पता होगा.

नेट प्रैक्टिस करते हुए विराट कोहली. नेट प्रैक्टिस करते हुए विराट कोहली.
श्रीबाबू गुप्ता
  • नई दिल्ली,
  • 29 मार्च 2023,
  • अपडेटेड 11:47 AM IST

IPL 2023: इंडियन प्रीमियर लीग (IPL) 2023 सीजन का आगाज 31 मार्च को होने वाला है. पहला मैच डिफेंडिंग चैम्पियन गुजरात टाइटन्स (GT) और महेंद्र सिंह धोनी की कप्तानी वाली चेन्नई सुपर किंग्स (CSK) के बीच होगा. गुजरात टीम का ये दूसरा ही सीजन है और उसकी कप्तानी स्टार ऑलराउंडर हार्दिक पंड्या के हाथों में है. 

आईपीएल को लेकर सभी टीमों ने अपनी तैयारी लगभग पूरी कर ली है. साथ ही अपने होम टाउन में ट्रेनिंग कैम्प भी लगाया है. इस कैम्प में बल्लेबाजों को प्रैक्टिस कराने के लिए नेट बॉलर्स को बुलाया जाता है. भारत समेत बाकी इंटरनेशनल टीमें भी अपनी तैयारी के लिए नेट बॉलर्स को बुलाती हैं.

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ज्यादातर नेट बॉलर फ्री में सर्विस देते हैं

आईपीएल में खिलाड़ियों को कितनी फीस मिलती है, तो यह नीलामी और कॉन्ट्रैक्ट के जरिए तय हो जाता है. साथ ही फैन्स के सामने सब जाहिर भी कर दिया जाता है. मगर नेट बॉलर्स को कितनी फीस मिलती है, ये अब तक शायद ही किसी को पता होगा.

यदि आपसे कहें कि नेट बॉलर्स को कुछ नहीं मिलता है. वह फ्री में अपनी सर्विस देते हैं, तो शायद आप चौंक जाएंगे. आप यही कहेंगे कि खिलाड़ियों और स्टाफ पर करोड़ों रुपये खर्च करने वाली फ्रेंचाइजीज आखिर नेट बॉलर्स को फ्री में क्यों रखती हैं?

कोरोना काल में मिलते थे लाखों रुपये

हां ये बात सही है. कोरोना से पहले तक नेट बॉलर्स को फ्री में ही रखा जाता था. चाहे वह टीम इंडिया की बात हो या फिर आईपीएल टीमों की. मगर कोरोना के दौरान प्रोटोकॉल्स के चलते नेट बॉलर्स को पूरे सीजन बायो-बबल में रखना पड़ता था. उन्हें साथ लाना-ले जाना करना पड़ता था. यही वजह रही कि कोरोना के समय नेट बॉलर्स को भी एक सीजन के करीब 5 लाख रुपये दिए जाते थे. साथ ही रहने और खाने का खर्चा भी वहन करते थे.

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मगर कोरोना के बाद एक बार फिर नेट बॉलर्स को फ्री में रखने की परंपरा शुरू हो गई. टीम जिस भी शहर में मैच खेलने जाती है, वहीं पर लोकल नेट बॉलर्स का इंतजार कर लिया जाता है. ऐसे में अब नेट बॉलर्स को साथ रखने और उनके खाने-पीने और होटल का खर्च वहन करने की भी जरूरत नहीं पड़ती है.

नेट बॉलर को क्या फायदा होता है?

मगर एक घरेलू क्रिकेटर से बात करने पर पता चला है कि नेट बॉलर्स को भी रखने के कुछ नियम हैं. यदि फ्रेंचाइजी को किसी खास नेट बॉलर की जरूरत पड़ती है और फ्रेंचाइजी या टीम मैनेजमेंट द्वारा उसे स्पेशल बुलाया जाता है, तब उस नेट बॉलर को हर दिन करीब 7 हजार रुपये के हिसाब से भुगतान किया जाता है. 

इस स्थिति में सबसे ज्यादा फायदा नेट बॉलर को यह भी होता है कि डाइट से लेकर उसको ग्रूम करने तक का पूरा ध्यान फ्रेंचाइजी ही रखती है. उस युवा नेट बॉलर को फ्रेंचाइजी से जुड़ने के बाद काफी कुछ सीखने को भी मिलता है. उसे स्टार प्लेयर के सामने गेंदबाजी का मौका मिलता है और बॉलिंग कोच से काफी कुछ सीखने को मिलता है. अपनी कमियों पर काम करने का मौका मिलता है.

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उमरान ने बतौर नेट बॉलर ही अपनी जगह बनाई

यदि कोई स्पोर्ट्स एकेडमी अपनी तरफ से नेट बॉलर्स का इंतजाम करता है या कोई प्लेयर खुद ही नेट बॉलर बनता है, तो उसे भुगतान नहीं किया जाता है. यह इसलिए किया जाता है, ताकि वह प्लेयर नेट बॉलर बनकर अपनी प्रतिभा दिखा सके. इससे उसके लिए आगे मौके मिलने के चांस होते हैं. इसका उदाहरण उमरान मलिक हैं. उमरान ने बतौर नेट बॉलर ही सनराइजर्स हैदराबाद टीम में जगह बनाई औऱ फिर टीम इंडिया के लिए डेब्यू भी किया.

 

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