टीम इंडिया को उस समय बड़ा झटका लगा जब रोहित शर्मा माउंट माउंगानुई में खेले गए पांचवें टी20 इंटरनेशनल मैच के दौरान चोटिल हो गए. रोहित अब वनडे और टेस्ट सीरीज से बाहर हो गए हैं.
न्यूजीलैंड के खिलाफ पांचवें टी-20 मैच के दौरान तेजी से एक रन लेने के प्रयास में रोहित की पिंडली की मांसपेशियों में खिंचाव आ गया था और उन्हें 41 गेंद में 60 रन बनाने के बाद रिटायर्ड हर्ट होकर लौटना पड़ा था.
न्यूजीलैंड सीरीज के लिए पहले रोहित शर्मा और शिखर धवन दोनों ओपनरों को चुना गया था. रोहित से पहले शिखर धवन टी-20 और वनडे सीरीज से बाहर हो गए थे.
अब रोहित के बाहर होने से टीम इंडिया के ओपनिंग कॉम्बिनेशन पर असर पड़ा है. वनडे सीरीज के लिए शिखर धवन के रिप्लेसमेंट के तौर पर पृथ्वी शॉ को शामिल किया गया था.
वहीं वनडे सीरीज के लिए रोहित शर्मा की जगह मयंक अग्रवाल को न्यूजीलैंड बुलाया गया है. कल भारत और न्यूजीलैंड के बीच तीन मैचों की वनडे सीरीज का पहला मुकाबला खेला जाना है.
पहला वनडे हेमिल्टन में भारतीय समयानुसार सुबह 7:30 बजे से खेला जाएगा. मयंक अग्रवाल के पहले वनडे में खेलने की संभावना कम है, इसलिए केएल राहुल और पृथ्वी शॉ की जोड़ी पहले वनडे मैच में ओपनिंग करने उतर सकती है.
पृथ्वी शॉ ने अपना आखिरी इंटरनेशनल मैच 12 अक्टूबर 2018 को खेला था. पृथ्वी शॉ करीब दो साल बाद इंटरनेशनल क्रिकेट में वापसी करेंगे. पृथ्वी शॉ के खेलने से टीम इंडिया को विस्फोटक शुरुआत मिल सकती है.
पृथ्वी शॉ में मास्टर ब्लास्टर सचिन तेंदुलकर की तरह अटैकिंग और डिफेंसिव तकनीक का मिश्रण है, जो न्यूजीलैंड के हालात के अनुसार है. ऐसे में टीम मैनेजमेंट पृथ्वी शॉ को पहले वनडे में उतार सकती है. आक्रामक शैली और तकनीक के साथ इस 20 साल के बल्लेबाज के लिए विदेशों में पास होना कोई मुश्किल काम नहीं.
पृथ्वी शॉ सचिन तेंदुलकर के बाद सबसे कम उम्र में पहला टेस्ट शतक जमाने वाले बल्लेबाज हैं.
भारतीय बल्लेबाज- सबसे कम उम्र में पहला टेस्ट शतक
17 साल 112 दिन: सचिन तेंदुलकर Vs इंग्लैंड, मैनचेस्टर, 1990
18 साल 329 दिन: पृथ्वी शॉ Vs वेस्टइंडीज, राजकोट, 2018
20 साल 21दिन: कपिल देव Vs वेस्टइंडीज, दिल्ली, 1979
20 साल 131 दिन: अब्बास अली बेग Vs इंग्लैंड, मैनचेस्टर, 1959
पृथ्वी शॉ की कप्तानी में भारत की अंडर 19 टीम ने 2018 में वर्ल्ड कप जीता था. पृथ्वी पहली बार नवंबर 2013 में सुर्खियों में तब आए थे, जब उन्होंने हैरिस शील्ड टूर्नामेंट में सेंट फ्रांसिस के खिलाफ रिजवी स्प्रिंगफील्ड की ओर से खेलते हुए 330 गेंदों में 546 रन बना डाले थे. उन्होंने इस पारी में 85 चौके तथा पांच छक्के लगाए थे.
माइनर क्रिकेट के रिकॉर्ड की बात करें, तो पृथ्वी शॉ की 546 रनों की पारी चौथी सर्वोच्च पारी है. भारत के ही प्रणव धनावड़े (1009*) सबसे ज्यादा रन बनाने वालों की सूची में टॉप पर हैं, जबकि ऑर्थर कॉलिंस (628*), चार्ल्स इडे (566) की पारियां क्रमशः दूसरे और तीसरे स्थान पर हैं.