
भारत ने अपनी सरजमीं पर इंग्लैंड से आखिरी श्रृंखला 1984-85 में गंवा दी थी. इस मैच के पहले ही सुनील गावस्कर और कपिल देव के बीच पैसों को लेकर झगड़ा हुआ था.
कपिल को कोलकाता में खेले गये तीसरे टेस्ट मैच की टीम से बाहर होना पड़ा था. इन दोनों के बीच सुलह कराने के लिये आखिर में तत्कालीन बोर्ड अध्यक्ष एनकेपी साल्वे को हस्तक्षेप करना पड़ा था. इस विवाद की नींव वाराणसी में 16-17 नवंबर 1984 को खेले गये सिंगल विकेट टूर्नामेंट के दौरान पड़ी थी. इस मैच के सूत्रधार और वरिष्ठ खेल पत्रकार पदमपति शर्मा के अनुसार गावस्कर और कपिल के बीच मैच की फीस को लेकर झगड़ा हो गया था जिसका प्रभाव इंग्लैंड के खिलाफ दस दिन बाद शुरू हुई श्रृंखला पर पड़ा था.
शर्मा ने कहा, 'मुंबई में जब पहला टेस्ट मैच खेला गया तो यही विवाद अखबारों की सुर्खियों में था. उस मैच में तो हम शिवरामाकृष्णन (12 विकेट) की बदौलत जीत गये. लेकिन इसके बाद श्रृंखला में यह विवाद हावी हो गया. कपिल को कोलकाता टेस्ट से बाहर करने का कारण भी यही थी. संदीप पाटिल को तो गावस्कर के करीबी होने की कीमत चुकानी पड़ी थी. भारत ने यह श्रृंखला 1-2 से गंवायी थी. यह भारतीय क्रिकेट में पहला और एकमात्र अवसर है जबकि टीम ने पहला टेस्ट मैच जीतने के बाद श्रृंखला गंवायी थी. भारत को दिल्ली में दूसरे टेस्ट और चेन्नई में चौथे टेस्ट मैच में हार झेलनी पड़ी थी.'
शर्मा ने कहा, 'इस मैच में कप्तान गावस्कर को सर्वाधिक दस हजार रुपये की पुरस्कार राशि और उसके बाद कपिल को सात हजार रुपये की राशि देने का फैसला किया गया था. मैच में मोहिंदर अमरनाथ, दिलीप वेंगसरकर, रवि शास्त्री, संदीप पाटिल, मदनलाल, चेतन चौहान और यशपाल शर्मा ने भी भाग लिया था.' उन्होंने कहा, 'तब बनारस क्रिकेट संघ के अध्यक्ष राजीव रंजन यादव ने जिम्मी (मोहिंदर) से लायन्स क्लब में पार्टी के दौरान कह दिया कि गावस्कर को 40 हजार रुपये मिले हैं. कपिल को जब इसका पता चला तो वह बिफर पड़े. दोनों में तीखी बहस भी हुई. शर्मा ने बताया, 'यह मसला मुंबई टेस्ट मैच के दौरान गरमा गया था. गावस्कर को आखिर वाराणसी मैच के आयोजकों से लिखवाकर लेना पड़ा कि उन्हें केवल दस हजार रुपये मिले थे. उन्होंने दिल्ली टेस्ट के दौरान होटल के अपने कमरे में मुझे बुलाया था. वह कपिल से बहुत नाराज थे.'
कपिल पर दिल्ली टेस्ट मैच की दूसरी पारी में पैट पोकाक की गेंद पर खराब शाट खेलकर अपना विकेट गंवाने का आरोप लगाया गया था. कपिल तब लगातार 66 टेस्ट मैच खेलकर पदार्पण के बाद लगातार सर्वाधिक टेस्ट मैच खेलने के रिकार्ड की तरफ बढ़ रहे थे लेकिन उन्हें कोलकाता टेस्ट मैच से बाहर कर दिया गया. साल्वे के हस्तक्षेप से कपिल की तो अगले मैच में वापसी हो गयी लेकिन पाटिल का वह आखिरी टेस्ट मैच साबित हुआ. उनकी जगह मोहम्मद अजहरूद्दीन को टीम में जगह मिली जिन्होंने अपने पहले तीन मैचों में शतक जड़कर नया इतिहास रचा था.