Advertisement

पोलियो प्रभावित देशों की सूची से भारत का नाम हटा

विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने एक साल से अधिक समय से पोलियो मुक्त रहे भारत का नाम पोलियो प्रभावित देशों की सूची से हटा दिया.

भाषा
  • नई दिल्ली,
  • 25 फरवरी 2012,
  • अपडेटेड 7:53 PM IST

विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने एक साल से अधिक समय से पोलियो मुक्त रहे भारत का नाम पोलियो प्रभावित देशों की सूची से हटा दिया.

प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह की मौजूदगी में यह घोषणा पोलियो सम्मेलन 2012 में स्वास्थ्य मंत्री गुलाम नबी आजाद ने की. आजाद ने बताया कि उन्हें शनिवार सुबह एक पत्र मिला, जिसमें उल्लेख किया गया है कि ‘पिछले एक साल में हमारे द्वारा की गई उल्लेखनीय प्रगति के मद्देनजर भारत का नाम पोलियो प्रभावित देशों की सूची से हटा दिया गया है.’

Advertisement

डब्ल्यूएचओ की पोलियो प्रभावित सूची में पाकिस्तान, नाइजीरिया और अफगानिस्तान सहित केवल चार देशों के ही नाम थे. भारत में विश्व स्वास्थ्य संगठन प्रतिनिधि नातेला मेनैब्डे ने कहा कि सूची से नाम हटाए जाने के बाद भारत को ठोस प्रयासों और आपातकालीन तैयारियों के साथ पोलियो मुक्त देश का दर्जा पाने के लिए अगले दो साल तक पोलियो मुक्त रहना होगा.

प्रधानमंत्री ने उपलब्धि की सराहना करते हुए कहा कि इसका असल श्रेय 23 लाख स्वयंसेवियों को जाता है जो बार बार बच्चों को पोलियो की दवा पिलाते हैं, यहां तक कि दूरदराज के क्षेत्रों में भी. उन्होंने कहा कि प्रयासों की सफलता से पता चलता है कि ‘टीम भावना से किया गया काम फल देता है.’

मनमोहन ने कहा, ‘इसने हमें उम्मीद दी है कि हम आखिरकार पोलियो को न सिर्फ भारत से, बल्कि समूची धरती से उखाड़ फेंक सकते हैं.’

Advertisement

मेनैब्डे ने कहा कि यह वैश्विक तौर पर एक बड़ी जन स्वास्थ्य उपलब्धि है. उन्होंने कहा कि यह न सिर्फ भारत के लिए उपलब्धि है, बल्कि वैश्विक तौर पर पोलियो को उखाड़ फेंकने के लिए एक बड़ी प्रगति है. उन्होंने आगाह किया कि हालांकि बहुत से देश इस लक्ष्य को प्राप्त कर चुके हैं, लेकिन जब तक इसका विषाणु मौजूद है तब तक प्रत्येक देश को पोलियो का खतरा है.

पोलियो के विषाणु को फिर से देश में प्रवेश न करने देने के लिए चौकसी बढ़ाने के साथ ही देशों को बच्चों को पोलियो की दवा देना और उनकी प्रतिरोधक क्षमता को उच्च बनाने के प्रयास जारी रखने होंगे.

नवम्बर 2010 के बाद पहली बार ज्यादातर पर्यावरणीय नमूने नकारात्मक साबित हुए. नमूनों का अध्ययन यह देखने के लिए किया गया कि कहीं हवा में पोलियो का विषाणु तो नहीं फैल रहा.

Read more!
Advertisement

RECOMMENDED

Advertisement