
उत्तर प्रदेश के आगरा शहर को पर्यटन की राजधानी कहा जाता है और ताजमहल को बेपनाह मोहब्बत की अनमोल निशानी. दुनियाभर के सैलानी ताजमहल का दीदार करने के लिए आगरा आते हैं. लेकिन जब भी विदेशी पर्यटकों के साथ कोई घटना होती है या फिर ताजमहल को लेकर कोई विवादित बयान आता है, तो उसका सीधा असर आगरा के पर्यटन कारोबार पर पड़ता है.
पर्यटन आय का सबसे बड़ा स्रोत
आगरा शहर की पहचान पूरी दुनिया में ताजमहल से होती है. इस संगमरमरी इमारत को देखने के लिए दुनिया के कोने कोने से लोग भारत आते हैं. आगरा शहर के निवासियों की आय का सबसे बड़ा स्रोत पर्यटन ही है. एक आंकड़े के मुताबिक आगरा में करीब साढ़े चार लाख लोगों का रोजगार पर्यटन से जुड़ा हुआ है. यही वजह है कि जब भी आगरा में आने वाले पर्यटकों की संख्या में कमी आती है तो ये लोग भी उससे प्रभावित होते हैं.
बयानबाजी से होता है ये नुकसान
पिछले दिनों ताजमहल को लेकर कई राजनेताओं के उल्टे सीधे बयान सामने आए. जिसकी वजह से देश और प्रदेश की राजनीति गर्मा गई. राजनेताओं को इससे कोई लाभ हो या न हो लेकिन इनके बेतुके बयानों की वजह से आगरा के पर्यटन कारोबारियों पर बड़ा प्रभाव पड़ता है. पर्यटन मामलों के विशेषज्ञ राजीव तिवारी का कहना है कि ताजमहल को प्रेम का स्मारक कहते हैं. इसको लेकर जो विवाद हुए हैं. उससे विदेशी पर्यटकों के मन में यह भावना आ गई है कि आगरा जाना सुरक्षित नहीं है.
रद्द हो जाती हैं होटल बुकिंग
जब ताजमहल से किसी विवाद को जोड़ा जाता है, तो पूरी दुनिया में इससे संबंधित ख़बरें दिखाई और प्रकाशित की जाती हैं. जिस वजह से भारत की तरफ आने वाले पर्यटक घबरा जाते हैं. नतीजा ये होता है कि वे आगरा आने का कार्यक्रम रद्द कर देते हैं. इसकी वजह से होटल इंड्रस्टी को खासा नुकसान होता है. आगरा के रॉयल रेजिडेंसी होटल के महाप्रबंधक अमीरुद्दीन कहते हैं कि जब इस तरह की घटनाएं होती हैं तो इसका बहुत बुरा प्रभाव होटल कारोबार पर पड़ता है. बुकिंग कैंसिल होने लगती हैं. एक होटल के प्रबंधक राजपाल कहते हैं कि ऐसी घटनाएं हिंदुस्तान के लिए शर्मनाक होती हैं. इकोनॉमी पर भी फर्क पड़ता है.
टूरिज्म एक्ट बनाने की ज़रूरत
आगरा के शहर के जाने माने टूर ऑपरेटर मातहम सिंह कहते हैं कि आज तक हमारे देश में कोई पर्यटन के लिए कोई कानून नहीं है. पर्यटन इंड्रस्टी को चलाने के लिए टूरिज्म एक्ट बनाए जाने की ज़रूरत है. उनके मुताबिक एक एक्ट होना चाहिए संविधान में और इस कारोबार का संचालन किए जाने के लिए बेहतर कानून होने चाहिएं. राजस्थान सरकार ने इस दिशा में कुछ कदम उठाए हैं.
पर्यटक के साथ बदसलूकी का प्रभाव
आगरा के जाने माने निर्यातक वसीम अहमद कहते हैं कि टूरिस्ट के साथ कहीं भी बदसलूकी या हिंसा होती है तो पूरी दुनिया में एक गलत संदेश जाता है. इस बात का असर पूरे देश के पर्यटन कारोबार पर तो पड़ता ही है, साथ ही आगरा शहर की फुटवेयर और हैंडीक्राफ्ट इंट्रस्टी पर भी इसका प्रभाव साफ देखा जा सकता है. पर्यटन रुकता है तो इकॉनोमी पर भी असर होता है. कारोबारी विजित गुप्ता बताते हैं कि होटल इंट्रस्टी पर ऐसे मामलों को सीधा असर होता है. पर्यटक भी नहीं आते और देश की छवि भी खराब होती है.
हर वर्ग होता है प्रभावित
आगरा में काम करने वाले गाइड हों या फिर सेल्समैन या फिर हैंडीक्राफ्ट शोरूम और होटल कारोबारी, हर कोई इस बात से परेशान रहता है कि ताजमहल को लेकर न जाने कब कोई बेतुका बयान आ जाए और पर्यटक आगरा आने का कार्यक्रम रद्द न कर दें. कारण केवल बयान नहीं है बल्कि आए दिन पर्यटकों के साथ होने वाली लूटपाट, मारपीट और हिंसा की घटनाएं भी इस कारोबार पर चोट करती हैं. ज़रूरत इस बात की है कि सरकार, पुलिस और पर्यटन से जुड़ी संस्थाएं मिलकर इस दिशा में काम करें. ताकि आगरा की टूरिज्म इंड्रस्टी और देश छवि दोनों को बचाया जा सके.