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यादव सिंह मामले में CBI जांच से बचने को अखिलेश सरकार ने खर्च किये थे 21 लाख

पूर्व की अखिलेश यादव सरकार ने नोएडा के पूर्व इंजीनियर यादव सिंह मामले में सीबीआई जांच से बचने के लिए सुप्रीम कोर्ट के बड़े वकीलों पर लगभग 21.15 लाख रुपये खर्च किये थे. इसका खुलासा एक आरटीआई के जरिये हुआ है. यह आरटीआई डॉ नूतन ठाकुर ने दायर की थी. आपको बता दें कि यादव सिंह पर भ्रष्टाचार के गंभीर आरोप लगे थे.

यादव सिंह मामले में बड़ा खुलासा यादव सिंह मामले में बड़ा खुलासा
शिवपूजन झा
  • लखनऊ,
  • 05 मई 2017,
  • अपडेटेड 12:40 PM IST

पूर्व की अखिलेश यादव सरकार ने नोएडा के पूर्व इंजीनियर यादव सिंह मामले में सीबीआई जांच से बचने के लिए सुप्रीम कोर्ट के बड़े वकीलों पर लगभग 21.15 लाख रुपये खर्च किये थे. इसका खुलासा एक आरटीआई के जरिये हुआ है. यह आरटीआई डॉ नूतन ठाकुर ने दायर की थी. आपको बता दें कि यादव सिंह पर भ्रष्टाचार के गंभीर आरोप लगे थे.

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नूतन द्वारा दायर जनहित याचिका पर इलाहाबाद हाई कोर्ट की लखनऊ बेंच ने इस मामले को सीबीआई को स्थानांतरित किया था. उत्तर प्रदेश सरकार ने इसके खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में एसएलपी दायर किया था जो 16 जुला ई2015 को पहली सुनवाई के दिन ही खारिज हो गई थी. लेकिन अखिलेश यादव सरकार ने सीबीआई जांच से बचने के लिए हर संभव प्रयास किया था.

नूतन ने कहा कि यह वास्तव में अफसोसजनक है कि यादव सिंह जैसे दागी को बचाने के लिए राज्य सरकार ने इतनी भारी धनराशि खर्च की गई थी, और उन्होंने यह धनराशि इस खर्च के लिए जिम्मेदार अफसरों के जेब से वसूलने की मांग की है.

गौरतलब है कि 954 करोड़ रुपये के टेंडर घोटाला मामले में आयकर विभाग ने यादव सिंह और उनकी पत्नी के परिसरों पर छापे मारे थे. इनमें भारी मात्रा में नगदी, दो किलो सोना और हीरे के आभूषण बरामद हुए. विभाग ने उनके दर्जन से ज्यादा बैंक खातों और उनके द्वारा संचालित निजी फर्मों को भी अपनी जांच के दायरे में ले लिया.

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