
बिहार विधान परिषद की कुल 24 सीटों के लिए मंगलवार को मतदान होगा. परिषद के चुनावों के लिए सभी तैयारियां पूरी कर ली गई हैं और मतदान सुबह आठ बजे से शाम चार बजे तक होगा. 534 मतदान केंद्रों पर 13.39 लाख मतदाता 152 उम्मीदवारों के राजनीतिक भविष्य का फैसला करेंगे.
चुनाव आयोग ने सोमवार को कहा कि सु्प्रीम कोर्ट के चुनावों पर रोक लगाने से
इनकार करने तथा आयोग के सुझाव को स्वीकार किए जाने चलते चुनाव पूर्व
निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार होंगे.
सु्प्रीम कोर्ट से मिली हरी झंडी
बिहार के अतिरिक्त मुख्य निर्वाचन अधिकारी आर लक्ष्मणन ने सोमवार को कहा, ‘हम एमएलसी के चुनाव निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार कल करा रहे हैं. आयोग सभी उम्मीदवारों को निर्देश जारी कर रहा है कि उनका कार्यकाल इस मामले में उच्चतम न्यायालय के फैसले पर निर्भर करेगा.’ उन्होंने कहा कि उच्चतम न्यायालय का फैसला अंतरिम है और अंतिम फैसला इन चुनावों में निर्वाचित होने वाले उम्मीदवारों को प्रभावित कर सकता है.
24 सीटों पर होगा मतदान
सुप्रीम कोर्ट ने विधान परिषद के लिए मंगलवार को होने वाले चुनावों पर रोक लगाने से इनकार करते हुए निर्वाचन आयोग का यह सुझाव स्वीकार कर लिया कि निर्वाचित सदस्यों के कार्यकाल का निर्धारण लाटरी के माध्यम से किया जा सकता है. इन 24 सीटों के लिए स्थानीय निकायों के निर्वाचित सदस्यों द्वारा मतदान किया जाएगा. स्थानीय निकायों में नगर निगम, नगरपालिका, पंचायत, पंचायत समिति और जिला परिषद शामिल हैं.
खाली रह गईं 24 सीटें
निर्वाचित सदस्यों में से एक-तिहाई सदस्य छह साल का कार्यकाल पूरा करने के बाद रिटायर हो जाते हैं. 1978 से 2002 के बीच स्थानीय निकायों के चुनाव नहीं होने से समस्या पैदा हुई और सदस्यों का कार्यकाल पूरा होने के बाद सीटें खाली रह गईं. उनके स्थानों पर कोई निर्वाचित नहीं हो सका क्योंकि स्थानीय निकायों में कोई निर्वाचित प्रतिनिधि नहीं था. परिषद की 24 सीटें खाली रहीं.