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बीसीसीआई ने शुक्रवार को छत्तीसगढ़ को पूर्ण सदस्य का दर्जा दे दिया है. इसके तुरंत प्रभाव से अब छत्तीसगढ़ ने रणजी ट्रॉफी टूर्नामेंट में भाग लेने की योग्यता प्राप्त कर ली. यह बोर्ड की 28वीं मान्यता प्राप्त इकाई बन गया है.
बीसीसीआई ने कहा, ‘सदस्यों ने बीसीसीआई की मान्यता समिति की छत्तीसगढ़ राज्य क्रिकेट संघ की पूर्ण सदस्यता देने की सिफारिशों को मंजूरी दे दी. यह अब बीसीसीआई के सभी टूर्नामेंट में मध्य क्षेत्र का हिस्सा होगा. छत्तीसगढ़ अब काफी लंबे समय एसोसिएट सदस्य रह चुका है और उसके पास रायपुर में सारी सुविधाओं से पूर्ण स्टेडियम भी है. इस बैठक में छत्तीसगढ़ क्रिकेट संघ (सीसीएस) के अध्यक्ष बलदेव सिंह भाटिया भी मौजूद थे.
हालांकि एक दिलचस्प कदम यह भी उठाया गया कि बिहार क्रिकेट संघ (बीसीए) को कार्यकारी समिति की बैठक में भाग लेने की अनुमति दे दी गई जो राज्य का विरोधी गुट है. इसके सचिव मृत्युंजय तिवारी ने बैठक में शिरकत की. लेकिन साथ ही बीसीसीआई ने क्रिकेट एसोसिएशन ऑफ बिहार (सीएबी) की अनदेखी की है. इसके सचिव आदित्य वर्मा आईपीएल स्पॉट फिक्सिंग याचिका और एन श्रीनिवासन के खिलाफ अभियान का चेहरा थे. यहां तक कि वर्मा को बैठक के लिए भी आमंत्रित नहीं किया गया जबकि विरोधी गुट अब एसोसिएट सदस्यता दर्जा हासिल करने के लिए दावेदार दिखता है.
इनपुटः भाषा