
झारखंड में बीजेपी गठबंधन को पूर्ण बहुमत मिलने के बाद बिहार में जनता दल यूनाइटेड, राष्ट्रीय जनता दल और कांग्रेस पार्टी का साथ आना तय माना जा रहा है. संभावना बढ़ गई हैं कि बिहार में बीजेपी के विजय रथ को रोकने के तीनों पार्टियां मिलकर महागठबंधन बनाए.
झारखंड में बीजेपी की सरकार बनना कोई खबर नहीं: नीतीश
इसके संकेत सबसे पहले बिहार के मुख्यमंत्री जीतनराम मांझी ने दिए. उन्होंने माना कि सेकुलर पार्टियों का चुनाव से पहले गठबंधन नहीं बना पाना बहुत बड़ी गलती थी.
आपको बता दें कि झारखंड विधानसभा चुनाव में आरजेडी और जेडीयू एक भी सीट जीतने में कामयाब नहीं हो सकी. वहीं, कांग्रेस को मात्र 6 सीटों से संतोष करना पड़ा.
मांझी ने कहा, 'हमारी गलतियों के कारण बीजेपी को फायदा हुआ है. अगर हमने गठबंधन बना लिया होता तो बीजेपी मौजूदा जीते सीटों के आधे पर सिमट जाती.'
मांझी के इन दावों से बिहार के पू्र्व सीएम नीतीश कुमार भी सहमत हैं. उन्होंने कहा, 'अगर महागठबंधन बन जाता तो झारखंड का सियासी माहौल कुछ और होता.' वैसे नीतीश का मानना है कि विपक्ष के बंटे होने के बावजूद भी बीजेपी ने उम्मीद से कम सीटें जीती हैं.
आरजेडी सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव ने कहा कि सेकुलर वोटों के बंटवारे से बीजेपी को फायदा हुआ. अगर आरजेडी और झारखंड मुक्ति मोर्चा के बीच भी गठबंधन हो जाता तो बीजेपी हार जाती. वे ऐसी गलती बिहार विधानसभा चुनाव में नहीं दोहराएंगे.
बिहार प्रदेश कांग्रेस कमिटी के अध्यक्ष अशोक चौधरी ने कहा कि एंटी बीजेपी को वोटों को बंटने से रोकने की कोशिश की जा रही है.
आपको बता दें कि 2009 झारखंड विधानसभा चुनाव में आरजेडी को 5, जेडीयू को 2 और कांग्रेस को 14 सीटें मिली थीं.