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हिरासत में लिए गए अजय कुमार लल्लू, बसों की एंट्री को लेकर बैठे थे धरने पर

कांग्रेस के कार्यकर्ता आगरा में राजस्थान की सीमा पर घरने पर बैठ गए. उन्होंने प्रदेश की योगी सरकार के खिलाफ नारेबाजी भी की. इस दौरान पुलिस और कांग्रेस के कार्यकर्ताओं के बीच जमकर नोकझोंक भी हुई.

धरने पर बैठे थे कांग्रेस के कार्यकर्ता धरने पर बैठे थे कांग्रेस के कार्यकर्ता
देव अंकुर
  • आगरा,
  • 19 मई 2020,
  • अपडेटेड 8:51 PM IST

  • बस चलाने को लेकर कांग्रेस और योगी सरकार आमने-सामने
  • आगरा में राजस्थान सीमा पर धरने पर बैठे कांग्रेस कार्यकर्ता

उत्तर प्रदेश में बसों की एंट्री को लेकर कांग्रेस के कार्यकर्ता आगरा में राजस्थान की सीमा पर धरने पर बैठ गए. उन्होंने प्रदेश की योगी सरकार के खिलाफ नारेबाजी की. इस दौरान पुलिस और कांग्रेस के कार्यकर्ताओं के बीच जमकर नोकझोंक भी हुई. पुलिस ने हाइवे पर ट्रकों और अपने वाहनों को खड़ा कर रास्ता रोक दिया. कांग्रेस कार्यकर्ता यूपी सीमा में बसों की एंट्री की इजाजत मांग रहे थे. वहीं, पुलिस ने उनसे बसों के परमिट और कागजात मांगें. इस बीच कांग्रेस ने आरोप लगाया कि पार्टी के यूपी अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू को पुलिस ने हिरासत में ले लिया है.

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अजय कुमार लल्लू का कहना है कि बसों के लिए ऊपर से आदेश जारी हो गया है तो बॉर्डर पर बसें क्यों रोकी जा रही हैं. उत्तर प्रदेश कांग्रेस कमेटी की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि योगी सरकार मानवता को शर्मसार करने वाली राजनीति कर रही है.

कांग्रेस ने कहा कि पार्टी की महासचिव प्रियंका गांधी ने योगी आदित्यनाथ को पत्र लिखकर 1000 बसों को चलाने की अनुमति मांगी, लेकिन मजदूर और गरीब विरोधी योगी सरकार की मंशा नहीं है कि गरीब प्रवासी मजदूर भाई-बहन अपने घर वापस लौटें.

यूपी कांग्रेस कमेटी के तरफ से जारी बयान में बताया गया कि आगरा में यूपी सीमा पर जब प्रदेश अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू प्रवासी मजदूर भाई-बहनों के लिए बसों को प्रदेश में लाने की बात करने लगे तो पुलिस ने उनसे पास की मांग करने लगी. बता दें कि लॉकडाउन में फंसे प्रवासी मजदूरों के लिए बस चलाने को लेकर कांग्रेस और योगी सरकार आमने-सामने है. इससे पहले कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने योगी सरकार को पत्र लिखा था.

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गृह सचिव को लिखे गए पत्र में कहा गया है कि आगरा प्रशासन तीन घंटे से बसों को प्रवेश की अनुमित नहीं दे रहा है. उन्होंने अनुरोध किया कि राज्य में बसों को प्रवेश की अनुमति दी जाए. इधर, कांग्रेस नेता सुप्रिया श्रीनेत ने आरोप लगाया कि यूपी सरकार हमारे ट्रांसपोर्टरों को धमका रही है. उन्होंने कहा कि योगी सरकार के आरटीओ हमारे ट्रांसपोर्टरों को धमकी दे रहे हैं, जिन्होंने बसें उपलब्ध कराई हैं.

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क्या है पूरा मामला

कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने 16 मई को ट्वीट कर कहा था कि हजारों श्रमिक, प्रवासी भाई-बहन बिना खाए भूखे-प्यासे पैदल दुनिया भर की मुसीबतों को उठाते हुए अपने घरों की ओर चल रहे हैं. यूपी के हर बॉर्डर पर बहुत मजदूर मौजूद हैं. ऐसे में प्रिंयका ने प्रवासी श्रमिकों के लिए 1000 बसें भेजने के लिए प्रदेश सरकार से अनुमति मांगी थी. पहले योगी सरकार ने इस मांग को ठुकरा दिया था, लेकिन बाद में स्वीकार कर लिया. इसके बाद उत्तर प्रदेश सरकार के प्रशासन ने प्रियंका के कार्यालय से 1000 बसों और चालकों के विवरण की मांग की थी.

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