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आम आदमी पार्टी की स्टूडेंट विंग CYSS इस साल भी दिल्ली यूनिवर्सिटी स्टूडेंट्स यूनियन चुनाव के सेंट्रल पैनल का चुनाव नहीं लड़ेगी. आम आदमी पार्टी ने बेशक इसका आधिकारिक ऐलान न किया हो, लेकिन पार्टी के सीनियर नेताओं ने छात्र संगठन की कमान संभालने वाले युवा नेताओं को डूसू चुनाव बायकॉट करने को कहा है.
कॉलजों में लड़ेंगे चुनाव
CYSS प्रवक्ता अनमोल पंवार के मुताबिक आम आदमी पार्टी का छात्र संगठन बेशक डूसू के सेंट्रल पैनल का बॉयकॉट कर रहा है, लेकिन कॉलेज यूनियन का चुनाव CYSS जरूर लड़ेगी. पंवार ने कहा, 'डूसू इलेक्शन में मसल्स और मनी पावर का हमने बायकॉट किया है. चुनाव लड़ने वाले छात्र संगठन लिंगदोह की सिफारिशों का खुलेआम उल्लंघन करते हैं, लेकिन तमाम शिकायतों के बावजूद इलेक्शन कमिटी इसे लेकर गंभीर नहीं है. हम चाहते हैं कि यूनिवर्सिटी इस पर सख्ती से काम करे.
CYSS के डूसू चुनाव बॉयकॉट करने पर विपक्षी छात्र संगठनों की अलग-अलग राय है, जहां NSUI की मानें तो चुनाव न लड़ कर CYSS, NSUI को समर्थन दे रही हैं. तो वहीं लगातार चार साल से डूसू के सेंट्रल पैनल पर काबिज़ ABVP ने CYSS पर तंज कसा है. ABVP की मानें तो CYSS चुनाव का बॉयकॉट नहीं कर रहा, बल्कि हारने के डर से चुनाव नहीं लड़ने का बहाना बना रहा है. ABVP के राष्ट्रीय मीडिया संयोजक साकेत बहुगुणा के मुताबिक जिस पार्टी के मुखिया और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने 28 कॉलेजों की फंडिंग रोक दी, 20 नए कॉलेज खोलने का वादा करके भूल गए, वो पार्टी और उसका छात्र संगठन किस मुंह से चुनाव लड़ेगा. CYSS ये जानती है कि डीयू के छात्र उन्हें नकार देंगे, इसीलिए वो चुनाव नहीं लड़ रहे.
आपको बता दें कि आम आदमी पार्टी के दिल्ली की सत्ता पर काबिज होने के बाद पहली बार साल 2015 में डूसू का चुनाव CYSS ने पूरे दम-खम के साथ लड़ा था. स्टार प्रचारक की भूमिका मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने निभाई थी तो वहीं रोडीज़ के रघु से लेकर विशाल डडलानी जैसे सेलिब्रेटी ने रॉक शो के जरिये CYSS के लिए वोट जुटाने की कोशिश की थी, लेकिन CYSS को हार का सामना करना पड़ा. CYSS एक पोस्ट पर दूसरे, दो पर तीसरे और एक पर चौथे नंबर पर थी.
तो वहीं साल 2016 में पंजाब चुनाव के चलते डूसू में आम आदमी पार्टी की स्टूडेंट्स विंग सीवाईएसएस ने हिस्सा नहीं लिया, मगर कॉलेज लेवल पर यूनियन इलेक्शन में यूनियन जरूर लड़ी. 25 कॉलेजों में 31 सीटों पर सीवाईएसएस ने जीत भी हासिल की.