
जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय (JNU) में यौन उत्पीड़न के आरोपी प्रोफेसर अतुल जौहरी के खिलाफ एक पीड़ित छात्रा ने जो खुलासा किया है, वो बेहद चौंकाने वाला है. पीड़िता ने धारा 164 के तहत अपने बयान दर्ज कराते हुए पुलिस को बताया कि प्रोफेसर अतुल जौहरी लैब को अपना "हरम" और खुद को वहां का 'राजा' कहते हैं.
स्कूल ऑफ लाइफ साइंस के प्रोफेसर अतुल जोहरी के खिलाफ यौन उत्पीड़न के आरोप आरोप लगाते हुए पीड़िता ने कहा कि "वे महिला छात्रों की आकर्षित करने के लिए पौराणिक अर्थों के साथ यौन उत्तेजक चुटकुले सुनाते थे. पीड़िता ने साथ ही अतुल जौहरी पर यह आरोप भी लगाए कि उनकी बात न मानने पर प्रोफेसर ने उसके रिसर्च वर्क को रोके रखा.
साथ ही पीड़िता ने डिपार्टमेंट और उच्च अधिकारियों द्वारा उसकी शिकायतों पर कार्रवाई न करने का आरोप भी लगाया. पीड़िता ने कहा कि अब तक उसने यह सोचकर प्रोफेसर अतुल जौहरी के खिलाफ पुलिस में शिकायत नहीं की कि कहीं उसका रिसर्च वर्क बाधित न हो जाए. पीड़ित छात्रा ने बताया कि प्रोफेसर अतुल जौहरी की पत्नी उनकी छात्राओं को प्रोफेसर से दूर रहने की हिदायतें भी देती रहती थीं.
यह है पुलिस में दर्ज पीड़िता का पूरा बयान- "मैंने जब 2013 में अतुल जौहरी की लैब ज्वॉइन की तभी से वह कुछ ज्यादा ही लगाव दिखाने लगे. एकबार उन्होंने मुझसे पूछा कि क्या मेरा कोई ब्वॉयफ्रेंड है. और अगर मेरा कोई ब्वॉयफ्रेंड है तो क्या मेरा उसके साथ शारीरिक संबंध भी है. एकबार उन्होंने मुझे एक चुटकुला सुनाते हुए कहा कि शिवजी ने पार्वती से बोला कि मुझे वो (गुप्त अंग का जिक्र) चाहिए. वह इस तरह के जोक सुनाते रहते थे और रिसर्च वर्क के बारे में डिस्कस करने के लिए अपने ऑफिस बुलाते रहते थे.'
पीड़िता ने अपने बयान में आगे कहा, 'जब मैं उनके ऑफिस गई तो कुर्सी की जगह उन्होंने मुझे सोफा पर अपनी बगल में बिठाते और मेरी इजाजत के बगैर अजीब तरीके से मेरी पीठ और कंधे सहलाते थे. यह सब मेरे लिए बहुत ही असहज करने वाला था. 2014 में एकबार जब में लैब में उनसे अपने सिनॉप्सिस के बारे में बात करने गई तो उन्होंने मेरे अंगों को लेकर असहज टिप्पणियां कीं और कहा अपने शरीर को मेनटेन रखो नहीं तो दूसरी लड़कियों की तरह कुरूप हो जाओगी. मेरे मना करने का भी उन पर कोई असर नहीं हुआ.'
पीड़िता ने बताया कि उसने जब अपनी साथी छात्राओं को प्रोफेसर जौहरी की इन हरकतों के बारे में बताया और प्रोफेसर को जब इस बारे में पता चला तो वह उसके प्रति दुर्भावना ग्रस्तता का व्यवहार करने लगे. पीड़िता ने कहा, 'उन्होंने मेरे लिए पढ़ाई का माहौल दूभर कर दिया और मेरे रिसर्च वर्क पर ध्यान देना भी बंद कर दिया और मेरे सारे असाइनमेंट्स रोककर रखने लगे. इसके बाद मैंने अपना लैब बदलने की भी कोशिश की, लेकिन डिपार्टमेंट ने मेरा साथ नहीं दिया. मैंने अपने डीन को बताया कि मेरा यौन शोषण किया जा रहा है और मैं अपना सुपरवाइजर बदलना चाहती हूं. लेकिन चूंकि मैं अपना लैब नहीं बदल सकती थी, इसलिए मुझे प्रोफेसर जौहरी के मार्गदर्शन में रिसर्च करना पड़ा."
पीड़िता ने कहा, "मैंने जनवरी, 2017 में ही अपना मैन्यूस्क्रिप्ट प्रोफेसर जौहरी को दे दिया था, लेकिन अब तक उन्होंने कोई जवाब नहीं दिया है. जो भी लड़की उनकी इन गंदी हरकतों का विरोध करती, वह उसका रिसर्च वर्क बाधित कर देते थे, जैसा कि उन्होंने मेरे साथ किया. मैं बेहद तनाव में और चिंतित हूं, क्योंकि मुझे अपना रिसर्च जुलाई में जमा करना है. अब तक मैंने पुलिस में इस सबकी शिकायत सिर्फ इसलिए नहीं की, क्योंकि मुझे अपना पीएचडी पूरा करने की चिंता थी, लेकिन इस दौरान पूरे समय मैं बेहद असहज रही."
पीड़िता ने पुलिस को बताया कि प्रोफेसर जौहरी की पत्नी अक्सर लैब आती रहती थीं और हमें शाम 6 बजे के बाद लैब में न रुकने की सलाह देती थीं. लेकिन जब मैंने अतुल जौहरी के खिलाफ अन्य छात्राओं द्वारा शिकायत किए जाने खबर सुनी तो मैंने भी शिकायत करने का फैसला लिया. मेरा अनुरोध है कि प्रोफेसर जौहरी के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए.