
दिल्ली विधानसभा की सुरक्षा पर बड़ा खतरा मंडरा रहा है. विधानसभा से इश्यू होने वाले प्रेस आई-कार्ड और पार्किंग स्टीकर्स लंबे समय से बाहरी लोगों को बेचे जा रहे थे. ये खुलासा दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच ने किया है. इस मामले में एक न्यूज चैनल के रिपोर्टर समेत दो लोगों को रंगे हाथों गिरफ्तार किया गया है. पुलिस अब विधानसभा कर्मी 'खत्री' की सरगर्मी से तलाश रही है. आरोपी खत्री से ही स्टीकर और आई-कार्ड लेते थे. यह धंधा लंबे समय से चल रहा था.
पुलिस सूत्रों से पता चला है कि फर्जी तरीके से विधानसभा स्टीकर्स और पास खरीदने वालों में दिल्ली के एक विधायक के दो भाई भी शामिल हैं. पुलिस उनकी छानबीन कर रही है. आशंका है कि इनके अलावा बड़ी संख्या में बाहरी लोग प्रेस कार्ड और स्टीकर्स का मिसयूज कर रहे हैं. गिरफ्तार आरोपियों से कई प्लेन आई-कार्ड, पार्किंग पास और दिल्ली विधानसभा की स्टाम्प रिकवर हुई है. सबसे चौंकाने वाली आरोपियों से चोरी की एक कार भी रिकवर हुई है. उसकी रिपोर्ट भजनपुरा में दर्ज है.
पुलिस ने नकली ग्राहक बनकर दबोचा
क्राइम ब्रांच के जॉइंट सीपी रवींद्र यादव ने बताया कि आरोपियों की पहचान एक न्यूज चैनल के रिपोर्टर विनोद बंसल और दिल्ली विधानसभा के पूर्व डिप्टी सेक्रटरी लालमणि के ड्राइवर जितेंद्र के तौर पर हुई है. दोनों एक-दूसरे से साल 2011 से संपर्क में हैं. लंबे समय से प्रेस-कार्ड और पार्किंग पास बेचकर मोटी कमाई कर रहे थे. इनके बारे में मुखबिर से सूचना मिली थी, जिसके आधार पर डीसीपी राजीव शर्मा के सुपरविजन में एक पुलिस टीम ने नकली ग्राहक देवेंद्र राणा के जरिए आरोपियों से संपर्क किया.
दिल्ली विधानसभा की सुरक्षा पर खतरा
उन्होंने बताया कि आरोपियों ने देवेंद्र को रोहिणी के एक रेस्टोरेंट में बुलाया. जैसे ही आरोपियों ने 10 हजार रुपये लेकर प्रेस कार्ड और स्टीकर सौंपा, पुलिस ने दोनों को अरेस्ट कर लिया. विनोद रोहिणी सेक्टर-1 के अवंतिका में रहता है. जितेंद्र का घर बुराड़ी में है. पुलिस विधानसभा कर्मी खत्री की तलाश में दबिश दे रही है. इस खुलासे के साथ दिल्ली विधानसभा की सुरक्षा के लिए बड़ा खतरा सामने आया है. गौरतलब है कि संसद भवन पर हमले के लिए गृह मंत्रालय का स्टीकर लगी कार इस्तेमाल हुई थी.