
पिछले दिनों नॉर्थ-ईस्ट दिल्ली में हुई हिंसा में मारे गए लोगों में 22 लोगों की मौत पत्थरबाजी की वजह से हुई है. दिल्ली पुलिस ने हिंसा में मारे गए लोगों में से 35 के मरने के कारणों की पहचान कर ली है, जिसमें 22 की मौत पथराव या हमले की वजह से जबकि 13 मौत गोली लगने की वजह से हुई.
पुलिस ने शुक्रवार को नॉर्थ-ईस्ट दिल्ली में हुई हिंसा में 35 लोगों के मारे जाने के कारणों का खुलासा किया और उनकी मौत की वजह भी बताई. 35 में से 22 की मौत पथराव या उन पर हुए शारीरिक हमले से हुई जबकि 13 की मौत बंदूक की गोली लगने से हुई.
पुलिस रिपोर्ट के अनुसार, अब तक के उपलब्ध रिपोर्ट के मुताबिक हिंसा के दौरान (मंगलवार तक) 35 लोगों ने चोट लगने या अन्य कारणों से दम तोड़ा. गोली लगने से 13 लोगों की मौत हुई जबकि 22 लोग चोट लगने की वजह से गंभीर रूप से घायल हुए और बाद में उनकी मौत हो गई.
दिल्ली पुलिस के प्रवक्ता ने यह भी कहा कि इस हिंसा के दौरान मारे गए लोगों में ज्यादातर की उम्र 20 और 30 के बीच की है. हालांकि अस्पताल के अधिकारी मरने वालों की संख्या 41 बता रहे हैं.
हमले या पथराव से मरने वालों लोगों की सूची
आलोक तिवारी (32 साल- शारीरिक हमले के कारण)
मोहसिन (25 साल- शारीरिक हमला)
सलमान (24 साल- पथराव)
IB के कर्मचारी अंकित शर्मा (26 साल -शारीरिक यातना)
असफाक हुसैन (शारीरिक हमला)
दिलबर सिंह नेगी (21 साल- शारीरिक हमला)
महरुफ अली (32 साल- शारीरिक हमला)
मेहताब (22 साल- शारीरिक हमला)
जाकिर (24 साल- शारीरिक हमला)
दीपक कुमार (34 साल- छुरा)
इसे भी पढ़ें--- कूड़ा बीनने गए बुजुर्ग की मौत, बेटा बोला- पिता का धर्म पूछकर की पिटाई
गोली लगने की वजह से हुई मौत
अमन (18 साल)
दिनेश (35 साल)
हेड कांस्टेबल रतन लाल (42 साल)
इस्तयाक (24 साल)
मोहम्मद मुबारक हुसैन (28 साल)
मोहम्मद मुदस्सर (30 साल)
प्रवेश (48 साल)
राहुल सोलंकी (26 साल)
वीर भान (50 साल)
मोहम्मद फुरकान (30 साल)
शाद मोहम्मद (35 साल)
इसे भी पढ़ें--- हिंसा के बाद दिल्ली में पटरी पर लौटती जिंदगी, जाफराबाद-मौजपुर की सड़कों पर हलचल
हालांकि दिल्ली पुलिस ने अब तक राहुल ठाकुर, फैजान, नितिन और विनोद की मौत के कारणों की पहचान नहीं की है. इस बीच दिल्ली पुलिस के मुताबिक नॉर्थ-ईस्ट दिल्ली की इस हिंसा में अब तक 123 एफआईआर दर्ज की जा चुकी हैं. इस मामले में पुलिस ने अब तक 100 लोगों को गिरफ्तार भी किया है, जबकि 530 लोगों को हिरासत में लिया गया.