
धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने के आरोपों के बीच हिंदुवादी संगठन आमिर खान की फिल्म 'पीके' पर पाबंदी लगाने की मांग कर रहे हैं. जबकि सेंसर बोर्ड ने ऐसी कोई भी कार्रवाई करने से साफ इनकार कर दिया है. केंद्रीय फिल्म प्रमाणन बोर्ड (सीबीएफसी) की अध्यक्ष लीला सैमसन ने साफ कर दियाह है कि बोर्ड फिल्म से कोई भी दृश्य नहीं हटाएगा, क्योंकि यह फिल्म पहले ही रिलीज की जा चुकी है.
बीते 19 दिसंबर को रिलीज हुई ‘पीके’ उस वक्त विवादों में घिर गई जब हिंदूवादी संगठनों ने फिल्म पर पाबंदी लगाने की मांग की और कहा कि सांप्रदायिक सद्भाव सुनिश्चित करने के लिए कथित आपत्तिजनक दृश्य हटाए जाएं. लीला ने इस बाबत कहा, 'हर फिल्म किसी न किसी की धार्मिक भावनाएं आहत कर देती है. हम गैर-जरूरी तरीके से दृश्य नहीं हटा सकते. रचनात्मक प्रयास नाम की एक चीज होती है, जिससे लोग अपने अंदाज में चीजों को पेश करते हैं. हम पहले ही ‘पीके’ को प्रमाण-पत्र दे चुके हैं. अब हम कुछ भी नहीं हटा सकते क्योंकि यह पहले ही सार्वजनिक हो चुकी है.'
गौरतलब है कि राजकुमार हिरानी के निर्देशन में बनी फिल्म ‘पीके’ भारत में फल-फूल रहे बाबाओं के बाजार पर एक कटाक्ष करती है. आमिर इसमें मुख्य भूमिका निभा रहे हैं. इस फिल्म में अनुष्का शर्मा, संजय दत्त और सुशांत सिंह राजपूत भी प्रमुख भूमिकाओं में हैं.
-इनपुट भाषा से