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गलत हो सकती है राहुल गांधी की ब्रिटिश नागरिकता की जानकारी

ब्रिटेन में एक कंपनी के रजिस्ट्रेशन में राहुल गांधी की ब्रिटिश नागरिकता को लेकर मचे बवाल को ब्रिटिश सरकार के विभाग कंपनीज हाउस के बयान ने नया मोड़ दे दिया है. सरकारी विभाग का कहना है कि प्राइवेट कंपनी Backops के 2005-2006 के रिटर्न संबंधी कागजातों में राहुल की ब्रिटिश नागरिकता 'एक गलती भी हो सकती है.'

कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी की फाइल फोटो कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी की फाइल फोटो
स्‍वपनल सोनल
  • नई दिल्ली,
  • 17 नवंबर 2015,
  • अपडेटेड 6:48 PM IST

ब्रिटेन में एक कंपनी के रजिस्ट्रेशन में राहुल गांधी की ब्रिटिश नागरिकता को लेकर मचे बवाल को ब्रिटिश सरकार के विभाग कंपनीज हाउस के बयान ने नया मोड़ दे दिया है. सरकारी विभाग का कहना है कि प्राइवेट कंपनी Backops के 2005-2006 के रिटर्न संबंधी कागजातों में राहुल की ब्रिटिश नागरिकता 'एक गलती भी हो सकती है.'

भारत में रजिस्ट्रार ऑफ कंपनीज के ब्रिटिश समकक्ष कंपनीज हाउस के एक प्रतिनिधि‍ ने एक अंग्रेजी अखबार से कहा, 'यह एक गलती भी हो सकती है. यह उस व्यक्ति‍ की गलती हो सकती है, जिसने यह जानकारी सौंपी.'

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विभाग के प्रतिनिधि‍ ने कहा, 'हम कागजात की आधारभूत जांच करते हैं और ये देखते हैं कि वह सही से भरा गया है या नहीं. हमारे पास ऐसे अधि‍कार नहीं है कि हम कंपनी द्वारा उसमें दी गई जानकारी की जांच कर सके. हम कंपनी द्वारा दी गई हर जानकारी को स्वीकार करते हैं और इसे पब्लि‍क रिकॉर्ड के लिए रखते हैं. इस तरह पब्लि‍क रिकॉर्ड में रखी गई किसी जानकारी के बारे में यह नहीं कहा जा सकता कि कंपनीज हाउस ने उसकी सत्यता की जांच की है.'

क्या है मामला
बीजेपी नेता सुब्रह्मण्यम स्वामी ने कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी की भारतीय नागरिकता पर सवाल उठाए हैं. उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को चिट्ठी लिखकर अपनी शि‍कायत के आधार पर राहुल गांधी की संसद सदस्यता खत्म करने की मांग की है. स्वामी का आरोप है कि राहुल ने लंदन में एक प्राइवेट कंपनी चलाने के लिए खुद को ब्रिटिश नागरिक (2003-2009) बताया था. राहुल गांधी की कंपनी का नाम बैकॉप्स लिमिटेड है, जिसके 2005 और 2006 रिटर्न में उनकी जन्मतिथि तो ठीक है, लेकिन नागरिकता ब्रिटेन की बताई है.

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इन कागजातों में राहुल गांधी का पता भी ब्रिटेन का ही दिया गया है. स्वामी ने प्रधानमंत्री मोदी को चिट्ठी लिखकर कहा है कि यह कानून का उल्लंघन है और आप इसके खिलाफ कार्रवाई करें.

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