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भारतीय सेना की ताकत बढ़ाएगा देश का पहला मानवरहित टैंक, जानिए कैसे

इन टैंकों का परीक्षण राजस्थान के रेगिस्तानी इलाकों के तेज तापमान में किया गया है. परीक्षण के दौरान सेना ने इस टैंक को सफलापूर्वक संचालित किया. इसमें निगरानी रडार, कैमरा, लेजर रेंज का पता लगाने वाली डिवाइस है.

 राजस्थान में हुआ मानवरहित टैंक परीक्षण राजस्थान में हुआ मानवरहित टैंक परीक्षण
सुरभि गुप्ता
  • नई दिल्ली,
  • 29 जुलाई 2017,
  • अपडेटेड 2:21 PM IST

रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) ने मानव रहित, रिमोट से संचालित टैंक विकसित किया है. ये टैंक निगरानी करने, सुरंग का पता लगाने और परमाणु व जैविक खतरों का सर्वेक्षण करने में सक्षम है. इस टैंक को MUNTRA नाम दिया गया है और ये देश का पहला मानवरहित टैंक है.

तीन तरह के हैं ये टैंक

मुंत्रा-एस का निर्माण जमीन पर मानवरहित निगरानी मिशन, MUNTRA-एम सुरंग का पता लगाने और MUNTRA-एन ऐसे इलाकों का पता लगाने के लिए है, जहां परमाणु या जैविक हथियारों का जोखिम हो.

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राजस्थान में हुआ परीक्षण

इन टैंकों का परीक्षण राजस्थान के रेगिस्तानी इलाकों के तेज तापमान में किया गया है. परीक्षण के दौरान सेना ने इस टैंक को सफलापूर्वक संचालित किया. इसमें निगरानी रडार, कैमरा, लेजर रेंज का पता लगाने वाली डिवाइस है. इससे जमीन पर 15 किलोमीटर की दूरी तक भारी वाहनों का पता लगाया जा सकता है.

नक्सल प्रभावित इलाकों में इस्तेमाल

अवदी के लड़ाकू वाहन अनुसंधान और विकास प्रतिष्ठान (CVRDE) ने इस टैंक का निर्माण और परीक्षण सेना के लिए किया है. लेकिन अर्धसैनिक बल इस टैंक को नक्सल प्रभावित इलाकों में इस्तेमाल करना चाहते हैं, इसके लिए इस टैंक में कुछ बदलाव की जरूरत होगी.

प्रदर्शनी में रखे गए टैंक

इस तरह के दो बख्तरबंद टैंकों को 'साइंस फॉर सोल्जर्स' प्रदर्शनी में लगाया था. इसका आयोजन पूर्व राष्ट्रपति और वैज्ञानिक एपीजे अब्दुल कलाम के सम्मान में DRDO ने अवदी में कराया था.

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