
कांग्रेस से निकाले गए पूर्व सांसद रमाकांत यादव आज समाजवादी पार्टी में शामिल हो गए. सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव और महाराष्ट्र प्रदेश अध्यक्ष अबू आसिम आजमी की मौजूदगी में रमाकांत यादव ने पार्टी की सदस्यता ली. अखिलेश के संसदीय क्षेत्र आजमगढ़ से रमाकांत चार बार सांसद रह चुके हैं. इसके अलावा पूर्व सांसद स्वर्गीय फूलन देवी की बहन रूक्मणी देवी निषाद भी सपा में शामिल हो गई हैं.
सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने कहा कि दूसरी पार्टी से आए नेताओं का स्वागत करता हूं. ये जो ताकत बढ़ रही है वो 2022 में समाजवादी पार्टी की सरकार बनाने में मदद करेगी. उन्होंने कहा कि बीजेपी ने यूपी से लेकर महाराष्ट्र में दूसरी पार्टी से नेता लाकर अपनी पार्टी मजबूत की. अकेले बीजेपी चुनाव नहीं जीत सकती थी.
अयोध्या विवाद और राम मंदिर पर बोलते हुए अखिलेश यादव ने कहा कि हम संविधान पर भरोसा है, जो कोर्ट फैसला करेगा हम मानेंगे. एक अखबार और मुख्यमंत्री को कैसे पता कि क्या फैसला आ रहा.
ऐसा रहा है रमाकांत का सियासी सफर
रमाकांत यादव ने पहली बार निर्दलीय निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में आजमगढ़ जिले की फूलपुर विधानसभा सीट से 1985 में चुनाव लड़ा था. इसके बाद वह 1989 में भाजपा और सपा से 1991 और 1993 में विधायक निर्वाचित हुए. सपा से 1996 में पहली बार सांसद चुने गए. 1999 में भी सपा से सांसद रहे. 2004 में बसपा से सांसद चुने गए और 2009 में भाजपा के टिकट पर लोकसभा पहुंचे. 2014 के चुनाव में मुलायम सिंह यादव से शिकस्त मिली. 2019 में भदोही लोकसभा सीट से संसदीय चुनाव लड़ा और हार गए.