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MP के दतिया में 500 से ज्यादा ‘फर्जी’ वोटर, कांग्रेस ने BJP को बताया जिम्मेदार

कांग्रेस ने चुनाव आयोग में याचिका देकर इस मामले में तत्काल कार्रवाई करने की मांग की है. चुनाव आयोग ने जांच के आदेश दिए हैं कि इन कथित वोटरों के नाम मतदाता सूची में कैसे जुड़े.

कांग्रेस ने चुनाव आयोग में दी याचिका कांग्रेस ने चुनाव आयोग में दी याचिका
रणविजय सिंह/हेमेंद्र शर्मा
  • भोपाल,
  • 10 मई 2018,
  • अपडेटेड 9:00 PM IST

मध्य प्रदेश में इस साल के आखिर में विधानसभा चुनाव होने हैं. प्रदेश के दतिया शहर से दो मकानों के पते से ही 500 से ज्यादा ‘फर्जी’ वोटर पाए जाने की घटना ने तूल पकड़ लिया है. हैरानी की बात है कि जिन दो पतों का उल्लेख है, उनमें से एक पता भी कागजी ही निकला और उसका जमीन पर कोई वजूद नहीं दिखा.

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कांग्रेस ने चुनाव आयोग में याचिका देकर इस मामले में तत्काल कार्रवाई करने की मांग की है. चुनाव आयोग ने जांच के आदेश दिए हैं कि इन कथित वोटरों के नाम मतदाता सूची में कैसे जुड़े.

कांग्रेस के पूर्व विधायक राजेंद्र भारती ने दतिया में मतदाता सूची से 500 से ज्यादा वोटरों के नाम छांटे हैं, जिनके बारे में उनका दावा है कि वे सभी ‘फर्जी’ हैं. इनमें से 288 का पता एक ही दिखाया गया है- ‘मकान नंबर 0, गढ़िया कॉलोनी, दतिया.’ राजेंद्र भारती की शिकायत पर चुनाव आयोग ने मौके पर जांच के लिए टीम को भेजा तो पाया कि मकान नंबर 0 का कहीं कोई अस्तित्व ही नहीं है.

भारती ने अपनी शिकायत में ज्योति नगर के एक मकान का भी उल्लेख किया जहां 250 मतदाता रहते दिखाए गए थे. चुनाव आयोग ने पाया कि वहां भी ऐसा कोई मतदाता नहीं रह रहा था.  

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राजेंद्र भारती ने इंडिया टुडे से कहा, ‘दतिया मतदाता सूची में बड़े पैमाने पर गड़बड़ी है. मैंने 500 से ज्यादा पर ध्यान दिलाया है लेकिन हकीकत में संशोधित मतदाता सूची में दस हजार से अधिक फर्जी वोटरों के नाम जोड़े गए हैं.’

कांग्रेस इस घटनाक्रम का राजनीतिक लाभ उठाने में कोई कसर नहीं छोड़ रही है. कांग्रेस का आरोप है कि इस सारे गड़बड़झाले के पीछे सत्तारूढ़ बीजेपी का हाथ है और वही मतदाता सूची में फर्जी वोटरों के नाम जुड़वा रही है.  

हाल ही में मध्य प्रदेश में नियुक्त किए गए कांग्रेस के कार्यकारी अध्यक्ष जीतू पटवारी ने कहा, ‘पूरे राज्य में मतदाता सूची में बड़े पैमाने पर फर्जीवाड़ा किया गया है. दतिया ताजा उदाहरण है. बीजेपी आने वाले चुनाव को फर्जीवाड़े से जीतना चाहती है लेकिन कांग्रेस ऐसा नहीं होने देगी.’

हालांकि बीजेपी ने संशोधित मतदाता सूची में फर्जी वोटरों की मौजूदगी को लेकर अपनी कोई भूमिका होने से इनकार किया है. बीजेपी प्रवक्ता राजेश अग्रवाल ने कहा, ‘बीजेपी का मतदाता सूचियां बनने की प्रक्रिया से कोई लेना देना नहीं है. ये चुनाव आयोग का काम है और उसे इस मामले को देखना चाहिए. ये कांग्रेस की आदत बन गई है कि हर चीज के लिए बीजेपी को जिम्मेदार ठहराया जाए.’

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ये पहली बार नहीं है कि मध्य प्रदेश में मतदाता सूची में फर्जी वोटरों के नाम पकड़े गए हों. मूंगावली और कोलारस में हाल में संपन्न उपचुनावों में कांग्रेस ने ऐसे कई फर्जी वोटरों के नाम चुनाव आयोग के संज्ञान में लाए थे. इसके बाद चुनाव आयोग ने उन नामों को मतदाता सूची से हटाने का फैसला किया था.

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