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बुरहान वानी का पड़ोसी था पुलवामा मुठभेड़ में मारा गया आतंकी फरदीन

अब इस मामले में एक और बात पता चली है, फरदीन खान पूर्व में मारे आतंकी बुरहान वानी का ही पड़ोसी था. पुलिस की मानें, तो खांडे का घर दक्षिण कश्मीर के त्राल में था.

फाइल फोटो फाइल फोटो
मोहित ग्रोवर
  • पुलवामा,
  • 02 जनवरी 2018,
  • अपडेटेड 8:58 AM IST

पुलवामा में हुआ आतंकी हमला 36 घंटे के बाद बंद हो गया है. इस ऑपरेशन में सेना के 5 जवान शहीद हुए और 3 आतंकियों को मार गिराया गया. मुठभेड़ में मारा गया कश्मीरी आतंकी फरदीन खांडे, एक पुलिस वाले का ही बेटा था. हमले के बाद उसका एक वीडियो भी आया था, जिसमें वो कश्मीरी युवकों से लड़ाई लड़ने की बात कह रहा था. वीडियो के दौरान उसने कहा था कि जब तक ये वीडियो आएगा, मैं जन्नत में पहुंच जाऊंगा.

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अब इस मामले में एक और बात पता चली है, फरदीन खांडे पूर्व में मारे आतंकी बुरहान वानी का ही पड़ोसी था. पुलिस की मानें, तो खांडे का घर दक्षिण कश्मीर के त्राल में था. जो कि बुरहान वानी का गृहनगर ही था. बताया जा रहा है कि तीन महीने पहले ही फरदीन के लापता होने की खबर लिखवाई गई थी.

फरदीन के अलावा दो और भी आतंकी इस मुठभेड़ में मारे गए. स्थानीय मीडिया की मानें, तो उनमें से एक की बंदूक पर लिखा था 'अफजल गुरू का बदला'. 36 घंटे तक चली मुठभेड़ सोमवार दोपहर को बंद हुई थी.

युवा ही थे आतंकी

जैश का यह आतंकी फरदीन खांडे महज 17 साल का है. तीन महीने पहले ही उसने आतंक की राह चुनी. इन तीन महीनों में ही उसका ब्रेन वॉश इस कदर कर दिया गया कि वह फिदाइन बन गया. फरदीन दसवीं में पढ़ाई करता था. फरदीन हिजबुल मुजाहिद्दीन के पोस्टर ब्वाय बुरहान वानी के गांव त्राल का ही रहने वाला था. दूसरे फिदायीन की शिनाख्त मंजूर बाबा के रूप में हुई है. उसकी उम्र 22 थी. मंजूर दक्षिण कश्मीर के पुलवामा जिले का ही रहने वाला था. तीसरा आतंकी देर शाम तक इमारत में छिपा हुआ था.

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कैसे हुआ था हमला?

जैश के फिदायीन आतंकी कड़ाके की ठंड के बीच रविवार रात दो बजकर 10 मिनट पर कैंप में घुसे थे. आतंकियों ने पहले यहां ग्रेनेड से हमला किया और इसके बाद अंधाधुंध फायिरंग शुरू कर दी. सीआरपीएफ जवानों ने जवाबी कार्रवाई की तो आतंकी कैंप में बनी एक इमारत में घुस गए.

जहां आतंकियों छुपे हुए थे, वो वो चार मंजिला इमारत है. बताया जा रहा है कि आतंकी बिल्डिंग के चौथे माले पर मौजूद थे और यहीं से फायरिंग कर रहे थे. इस बिल्डिंग में सीआरपीएफ सेंटर का एडमिनिस्ट्रेटिव ब्लॉक है, जहां कंट्रोल रूम भी है. ये भी जानकारी मिली है कि जम्मू  कश्मीर पुलिस ने इस कैंप पर फिदायीन हमले की स्पेसिफिक चेतावनी दी थी.

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