
भारत-अफगानिस्तान हवाई माल ढुलाई गलियारा (एयर कार्गो कॉरीडोर) अगले कुछ दिनों में शुरू हो जाएगा. विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता गोपाल बागले ने शुक्रवार को कहा, भारत और अफगानिस्तान के बीच माल ढुलाई गलियारा अब हकीकत बनने के कगार पर है.
अगले कुछ दिनों में भारत से पहली उड़ान किसी नागरिक विमान की उड़ान की तरह पाकिस्तान के हवाई क्षेत्र से होते हुए अफगानिस्तान जाएगी. उन्होंने कहा कि यह माल ढुलाई सेवा उड़ान 15 दिन और 1 महिनें में होगी. उन्होंने कहा कि इस सेवा के तहत भारतीय उत्पादों को अफगानिस्तान पहुंचाया जाएगा और वहां के उत्पादों को भारत लाया जाएगा. इस हवाई गलियारे की योजना लंबे समय से बन रही है, क्योंकि सड़क के रास्ते अफगानिस्तान तक माल पहुंचाना काफी मुश्किल है.
एयर कार्गो कॉरीडोर का उद्देश्य
इसका उद्देश्य अफगानिस्तान को भारतीय बाजार में एक वैकल्पिक व्यापार लिंक देना है. साथ ही भारतीय माल को युद्ध से तबाह हुए इस देश में पहुंचाना है. अफगानिस्तान के फल, मेवों और कालीन की भारत में काफी मांग है. माल ढुलाई गलियारे से इनके आयात को बढ़ावा मिलेगा. बागले ने कहा कि अफगानिस्तान की एरियाना एयरलाइंस द्वारा चलाई जाने वाली पहली उड़ान इस विचार की व्यवहार्यता का निर्धारण करेगी. उन्होंने कहा, 'यह एक वाणिज्यिक उद्यम है जो दोनों सरकारों द्वारा बहुत दृढ़ता से और बहुत उद्देश्यपूर्वक समर्थित है.