
दिल्ली विधानसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी ने एक बार फिर से जीत दर्ज की है. वहीं अब केजरीवाल सरकार के मंत्री लगातार अहम मुद्दों पर काम कर रहे हैं. इस बीच दिल्ली में प्रदूषण की समस्या से निपटने के लिए भी केजरीवाल सरकार के मंत्री निरीक्षण कर रहे हैं.
बढ़ते प्रदूषण को कम करने की दिशा में दिल्ली सरकार के पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने मेजर ध्यानचंद स्टेडियम में एयर क्वालिटी मॉनिटरिंग स्टेशन का निरीक्षण किया. गोपाल राय ने कहा कि दिल्ली में प्रदूषण को मापने के कुल 28 सेंटर है, जिनमें से केवल एक ही सेंटर पर अभी वाशिंगटन यूनिवर्सिटी की ओर से ये सिस्टम लगया गया.
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गोपाल राय ने कहा कि ये सिस्टम बताएगा की दिल्ली में जो प्रदूषण का लेवल बढ़ रहा है, उसका मुख्य कारण ओर सोर्स क्या है. साथ ही उसका हर मिनट का डेटा भी उपलब्ध कराएगा, जिसकी फाइनल रिपोर्ट मार्च में आएगी. अभी तक पूरी तरह से दिल्ली में प्रदूषण बढ़ने के सोर्स का पता नहीं चल पाता था.
रियल टाइम डेटा जरूरी
गोपाल राय ने कहा कि प्रदूषण का रियल टाइम डेटा आना जरूरी है. पुराने डेटा से एक्शन प्लान नहीं बनेगा. सोर्स का पता चलने पर ही उसे कम करने का मैकेनिज्म बन पाएगा. रियल टाइम डेटा हासिल करने के लिए दिल्ली सरकार वाशिंगटन यूनिवर्सिटी के साथ समझौता करके काम कर रही है. मार्च तक अंतिम रिपोर्ट सरकार को मिल जाएगी. रियल टाइम डेटा ने एक्शन प्लान में किए गए काम को भी माप पाएंगे और उसका क्या प्रभाव हो रहा है, इसकी जानकारी भी मिलती रहेगी.
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गोपाल राय ने बताया कि अभी राजधानी दिल्ली में एयर क्वालिटी के क्या पैरामीटर्स हैं, एयर में PM10 PM2.5 में पार्टिकल का कितना पार्टिसिपेशन है, इसको लेकर काफी लंबे समय से स्टडीज आती रही हैं. देश के अंदर मुख्य तौर पर 3 स्टडीज सामने आई है. 2010 में नागपुर से पहली स्टडी, 2016 में आईआईटी कानपुर से दूसरी और 2018 में टेरी की तीसरी स्टडी आई थी.
इससे पहले पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने गुरुवार को पर्यावरण व वन विभाग के अधिकारियों और दिल्ली पॉल्यूशन कंट्रोल कमेटी के वैज्ञानिकों के साथ समीक्षा बैठक की. 28 फरवरी को इसी कड़ी में एक टास्क फोर्स की बैठक भी बुलाई गई है.