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लॉस एंजिलिस के गुरुद्वारे में तोड़फोड़, दीवारों पर ISIS के खिलाफ लिखीं गालियां

कैलिफोर्निया में फायरिंग की घटना के बाद अमेरिका में आईएसआईएस के खिलाफ काफी गुस्सा है. पिछले बुधवार को अमेरिका के सैन बर्नार्डिनो के कम्युनिटी सेंटर पर फायरिंग हुई थी. इसमें 14 लोगों की मौत हो गई थी.

गुरुद्वारे की फाइल फोटो गुरुद्वारे की फाइल फोटो
संदीप कुमार सिंह
  • लॉस एंजिलिस,
  • 09 दिसंबर 2015,
  • अपडेटेड 12:45 PM IST

अमेरिका के लॉस एंजिलिस में के एक गुरुद्वारे में तोड़फोड़ होने की खबर है. तोड़फोड़ करने वालों ने गुरुद्वारे की दीवारों पर आतंकी संगठन आईएसआईएस के खिलाफ गालियां और इस्लाम विरोधी नारे भी लिख दिए.

आशंका जताई जा रही है कि यह घटना कैलिफोर्निया में पिछले दिनों हुई फायरिंग की प्रतिक्रिया में हुई हो. पश्चिमी देशों में आतंकवादी घटनाओं के बढ़ने के बाद से इस्मामविरोध के विचार में तेजी आई है और अक्सर पगड़ी के कारण सिख समुदाय हेट विचारधारा का शिकार होता है. लॉस एंजिलिस में सिख समुदाय के एक नेता ने इस बात की आशंका जताई कि घटना कैलिफोर्निया में पिछले दिनों हुई फायरिंग का जवाब हो सकती है.

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कैलिफोर्निया में फायरिंग की घटना के बाद अमेरिका में आईएसआईएस के खिलाफ काफी गुस्सा है. पिछले बुधवार को अमेरिका के सैन बर्नार्डिनो के कम्युनिटी सेंटर पर फायरिंग हुई थी. इसमें 14 लोगों की मौत हो गई थी. हमलावर कपल सैयद फारुख और तश्फीन मलिक पाकिस्तानी मूल के थे और ISIS ने उनके अपना समर्थक होने का दावा किया था.

तोड़फोड़ की इस घटना के सामने आने के बाद लॉस एंजिलिस के बाहरी इलाके बुएना पार्क में सिख गुरुद्वारे के प्रेसिडेंट इंद्रजोत सिंह ने कहा, 'हम अपने समुदाय के लोगों की सुरक्षा को लेकर चिंतित हैं. हम मानते हैं कि कैलिफोर्निया में हुई फायरिंग के बाद इस तरह की नफरत बढ़ रही है. हमें इसे रोकना होगा.'

इससे पहले भी हुए थे हमले

  • पगड़ी के कारण सिख समुदाय के मुस्मिल होने का भ्रम पश्चिमी देशों के लोगों को होता है.
  • 11 सितंबर 2001 को न्यूयॉर्क के वर्ल्ड ट्रेड सेंटर पर आतंकी हमले के बाद अमेरिका में सिखों पर हमले के 200 से ज्यादा मामले सामने आए थे.
  • इसके बाद भी सिखों के खिलाफ अमेरिका में हिंसा होती रही है.
  • अमेरिका में सिख समुदाय के लोगों की आबादी 5 लाख के आसपास है.
  • 2014 में अमेरिका के नेशनल सिख कैम्पेन की तरफ से एक स्टडी हुई जिसमें ये बात सामने आई कि 60 फीसदी अमेरिकन सिखों के बारे में ज्यादा जानकारी नहीं रखते और 34 फीसदी अमेरिकन सिखों और मुस्लिमों में फर्क नहीं कर पाते.

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