
चीन के विद्रोही वर्ल्ड उइगर कांग्रेस (WUC) के लीडर डोल्कन ईसा का वीजा रद्द किए जाने के बाद एक और फैसले से भारत सरकार की आलोचना हो रही है. भारत ने चीन से निष्कासित एक एक्टिविस्ट को धर्मशाला में हो रही कॉन्फ्रेंस में शामिल होने से रोक दिया.
चीन से निष्कासित जानी-मानी थियानमेन स्क्वेयर एक्टिविस्ट लू जिंघुआ को भी 28 अप्रैल को धर्मशाला में हो रही उसी कॉन्फ्रेंस में हिस्सा लेना था, जिसमें डोल्कन ईसा आने वाले थे. मोदी सरकार ने चीन के दबाव के बाद ईसा का वीजा रद्द कर दिया था.
ईमेल के जरिए मिली थी वीसा जारी करने की सूचना
लू जिंघुआ ने बताया कि वह न्यूयॉर्क से एयर इंडिया की फ्लाइट के जरिए भारत आने वाली थीं, लेकिन फ्लाइट में बोर्ड होने से ठीक पहले उन्हें बताया गया कि उनका वीजा कैंसिल कर दिया गया है. उन्होंने कहा कि एयरपोर्ट के लिए निकलने से पहले उन्हें ई-मेल के जरिए बताया गया था कि उनका वीजा जारी कर दिया गया है, जिसका उन्होंने प्रिंट आउट भी लिया था.
एयर इंडिया स्टाफ ने रोका
'आज तक' से बातचीत में उन्होंने कहा, 'एयरपोर्ट में एयर इंडिया के स्टाफ ने मुझे बताया कि मैं विमान में सवार नहीं हो सकती क्योंकि मेरा वीजा रद्द कर दिया गया है.' उन्होंने कहा कि एयर इंडिया स्टाफ ने उन्हें इसके पीछे की वजह नहीं बताई.
फिलहाल अमेरिकी नागरिक हैं लू
बता दें कि लू अमेरिकी नागरिक हैं और डोल्कन ईसा जर्मनी के नागरिक हैं. इन्हें हिमाचल प्रदेश के धर्मशाला में 28 अप्रैल से 1 मई तक होने वाली कॉन्फ्रेंस में शामिल होना था लेकिन चीन के दबाव में भारत सरकार ने उनका वीजा रद्द कर दिया. यह कॉन्फ्रेंस अमेरिका के 'सिटीजन पावर फॉर चाइना' की ओर से की जा रही है. इसके चीफ यांग जियानली हैं. जो 1989 में थियानमेन स्क्वेयर पर हुए प्रोटेस्ट में शामिल थे.