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भारत में रोजगार देने के मामले में ऑटोमोबाइल सेक्टर काफी आगे है. अनुभवी के साथ-साथ इस सेक्टर में फ्रेशर्स को भी हायर किया जाता है. यह इंडस्ट्री हायर रिक्रूटर्स की श्रेणी में आती है. अगर आप भी ऑटोमोबाइल सेक्टर में करियर बनाना चाहते हैं तो जानें फ्रेशर्स के लिए कौन से मौके हैं.
डिजाइन इंजीनियर के रूप में: ऑटोमोबाइल सेक्टर में डिजाइन इंजीनियरिंग की बेहद खास है. एक डिजाइन इंजीनियर के तौर पर आपको व्हिकल या अन्य पार्ट्स के ब्लू प्रिंट तैयार करने होते हैं. यह काफी क्रिएटिव जॉब हैं. इसमें फ्रेशर्स को काफी मौके मिलते हैं.
मैनूफैक्चरिंग इंजीनियर: इस जॉब में व्हिकल बनाने और उसके प्रोडक्शन की जिम्मेदारी होती है. इसके लिए आपके पास विज्ञान और गणित की आधुनिक समझ होनी चाहिए. आपको एक फ्रेशर के तौर पर अच्छे से कर्मचारियों से कम्यूनिकेट करना भी आना चाहिए तभी आप अपनी योग्यता साबित कर पाएंगे.
डेवलपमेंट इंजीनियर: अगर आपके पास चीजों को सूक्ष्मता से जांचने-परखने की काबिलियत है तो ऑटोमोबाइल सेक्टर में डेवलपमेंट इंजीनियर की नौकरी प्राप्त कर सकते हैं. डेवलपमेंट इंजीनियर के तौर पर आपको ब्लू प्रिंट का आकलन करना होगा.
रोजगार के मौके:
विदेशी कंपनियां:
होंडा
ऑडी
बीएमडब्ल्यू
टोयोटा
हुंडई
फोर्ड
देशी कंपनियां:
मारुति
महिंद्रा एंड महिंद्रा
हिंदुस्तान मोटर्स
बजाज ऑटो
ऑटोमोबाइल सेक्टर
ऑटोमोबाइल सेक्टर में नौकरी पाने के जरूरी स्किल्स
ऑब्जेक्टिव और लॉजिक विचार हमेशा आपके पास होने चाहिए
स्केचिंग और ड्रॉइंग की अच्छी समझ होनी चाहिए
टीम वर्क और कम्यूनिकेशन स्किल्स
हार्ड वर्किंग और हमेशा कुछ नया सीखने के लिए तत्पर रहने का स्किल्स