
कर्नाटक में कांग्रेस और जेडीएस के बीच पिछले कई दिनों से कोल्ड वॉर जारी था. राज्य में कांग्रेस का चेहरा और पूर्व मुख्यमंत्री सिद्धारमैया नाराज माने जा रहे हैं. इस नाराजगी से कुमारस्वामी सरकार पर संकट के बादल छाए हुए थे? सिद्धारमैया को इस रणनीति में कामयाबी मिली. इसके बाद तय हुआ है कि दोनों पार्टियों के बीच सरकार चलाने के लिए न्यूनतम साझा कार्यक्रम बनाया जाएगा.
न्यूनतम साझा कार्यक्रम
कांग्रेस और जेडीएस गठबंधन सरकार के लिए न्यूनतम साझा कार्यक्रम के लिए साढे़ 11 बजे कांग्रेस कार्यालय में मीटिंग होगी. इस बैठक में पूर्व मुख्यमंत्री सिद्धारमैया भी हिस्सा लेंगे. न्यूनतम साझा कार्यक्रम की फाइल ड्राफ्ट शाम साढे चार बजे तय किया जाएगा.
बजट को लेकर दोनों के बीच मनमुटाव
बता दें कि कुमारस्वामी सरकार के लिए 5 जुलाई को पेश होने वाला बजट अग्निपरीक्षा है. सिद्धारमैया इस बात पर जोर दे रहे हैं कि उन्होंने इसी साल फरवरी में जो बजट पेश किया था, उसे लेकर ही आगे बढ़ा जाए. नए बजट की जगह पूरक बजट पेश किया जाए. सिद्धारमैया की इस मांग को जेडीएस सुप्रीमो एच डी देवगौड़ा तक खारिज कर चुके हैं.
सिद्धारमैया की नाराजगी की ये वजह?
कुमारस्वामी द्वारा पेश किए जाने वाले बजट को लेकर सिद्धारमैया का एक वीडियो भी वायरल हुआ था. इस वीडियों में वे बोल रहे थे कि कुमारस्वामी बजट बनाकर उसे कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी से स्वीकृति लेंगे. सिद्धारमैया कुछ कांग्रेस विधायकों के सामने नया बजट पेश करने को लेकर नाराजगी जाहिर करते हुए दिख रहे थे. इन दोनों वीडियो के सामने आने के बाद गठबंधन साझेदारों में असहज स्थिति पैदा हो गई है.
दरअसल कर्नाटक में कुमारस्वामी के नेतृत्व में कांग्रेस-जेडीएस गठबंधन की सरकार भले ही बन गई हो, लेकिन दोनों पार्टियों के बीच सब कुछ ठीक नहीं चल रहा है. दोनों पार्टियों के बीच लगातार कोल्ड वॉर जारी था. पिछले कुछ दिनों से सिद्धारमैया लगातार सीएम कुमारस्वामी को लेकर अपना असंतोष जाहिर कर रहे हैं. इससे न केवल जेडीएस विधायकों में रोष बढ़ रहा है बल्कि कांग्रेस के भी कई नेताओं में असंतोष फैल रहा था. सिद्धारमैया से कांग्रेसी विधायकों ने बुधवार रात मुलाकात की थी.
बता दें, कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री सिद्धारमैया, जो जेडी (एस)-कांग्रेस समन्वय समिति के अध्यक्ष भी हैं. वे आज बेंगलुरु पहुंच रहे हैं. कांग्रेस के नाराज विधायकों के साथ वे मुलाकात कर सकते हैं. पार्टी के कई विधायक मंत्री न बनाए जाने के चलते असंतुष्ट हैं. कुमारस्वामी की कैबिनेट में कांग्रेस कोटे के 6 मंत्रियों की जगह अभी भी खाली हैं.