
40 दिनों से काम धंधों के ठप होने के चलते तमाम सरकारों के खजाने खाली हो गए हैं और सरकारों को बड़ी उम्मीद शराब की कमाई से ही है. यही वजह है कि देश के सभी प्रदेशों में मयखाने खुल गए हैं और लंबी-लंबी कतारें लगाकर लोग शराब खरीद रहे थे. शराब प्रेमियों की ठेकों के बाहर लग रही भीड़ ने सरकारों के राजस्व को बढ़ा दिया है.
शराब की दुकानों को खोलने के पहले दिन यानी 4 मई को उत्तर प्रदेश में 100 करोड़ से ज्यादा की शराब बिकी. सिर्फ लखनऊ में कल के दिन साढ़े छह करोड़ से ज्यादा रकम जाम में छलका दी गई. वहीं, कर्नाटक में सरकार को 45 करोड़ का राजस्व मिला. यहां 3.9 लाख लीटर बीयर और 8 लाख लीटर आईएमल की बिक्री हुई.
दिल्ली में दूसरे दिन भी लगी लाइन
गौरतलब है कि शटर खुल भी नहीं पाई और सुबह 6 बजे से ही दुकानों के बाहर आज फिर से कतारें लग गईं. फिर से लोगों की बेसब्री सड़कों पर उमड़ पड़ी. लंबे अरसे बाद देश में शराब दुकानें खुलने कल पहला दिन था. कल रिकॉर्डतोड़ खरीदारी की गई, लेकिन आज दूसरे दिन भी जाम के लिए जोश कम न हुआ.
केजरीवाल सरकार ने महंगी की शराब
दिल्ली में केजरीवाल सरकार ने शराब करीब-करीब दोगुनी महंगी कर दी है. कल देर रात इस बारे में आदेश जारी किया गया. दिल्ली सरकार ने शराब पर स्पेशल कोरोना फीस लगाई है. दिल्ली में एमआरपी से भी 70 फीसदी ज्यादा शराब महंगी हो गई है यानि अगर एक बोतल की कीमत 1000 है तो अब 1700 की मिलेगी.
एमपी में भी खुल गईं शराब की दुकानें
उधर मध्यप्रदेश की शिवराज सरकार भी कमाई और कोरोना के खतरे के बीच दिनभर की उहापोह के बाद आखिरकार कमाई को नकार नहीं सकी. मध्यप्रदेश में भी आज से शराब दुकानें खोल दी गईं. रेड (केवल ग्रामीण), ऑरेंज और ग्रीन जोन की शराब दुकानें खोली गई हैं. सिर्फ इंदौर, भोपाल और उज्जैन में शराब की दुकानें नहीं खुली हैं.