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महाराष्ट्र विधानसभा चुनावः कर्जत जामखेड में पवार की प्रतिष्ठा दांव पर

एनसीपी के रोहित पवार और बीजेपी के राम शिंदे के बीच कांटे की टक्कर 

फोटो सौजन्यः इंडिया टुडे फोटो सौजन्यः इंडिया टुडे
नवीन कुमार
  • कर्जत जामखेड (महाराष्ट्र),
  • 14 अक्टूबर 2019,
  • अपडेटेड 6:44 PM IST

महाराष्ट्र के अहमदनगर जिले की कर्जत जामखेड विधानसभा सीट पर एनसीपी प्रमुख शरद पवार की प्रतिष्ठा दांव पर लगी है. क्योंकि, इस सीट पर एनसीपी ने पवार की तीसरी पीढ़ी रोहित पवार को मैदान में उतारा है जो उनकी राजनीतिक विरासत के भी दावेदार माने जाते हैं. यह सीट भाजपा का गढ़ है. यहां पर भाजपा का 24 साल से कब्जा है. 

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पवार की रणनीति को भांपते हुए ही महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़णवीस ने इस क्षेत्र के लोगों से अपील की कि वे बारामती के पार्सल (रोहित पवार) को वापस भेजें. लेकिन रोहित इसे फड़णवीस की कमजोर कड़ी के रूप में देखते हुए कहते हैं, 'यह मुख्यमंत्री जैसे ताकतवर व्यक्ति के लिए शोभनीय नहीं है. जिस सभा में वे इस तरह की अपील कर रहे थे वहां भीड़ जुटाई गई थी.' 

इधर इस सीट के भाजपा के अधिकृत उम्मीदवार और मंत्री राम शिंदे दावा करते हैं कि सीएम को लोगों ने सकारात्मक जवाब दिया है. सीएम ने मुझे दोबारा मंत्री बनाने का वादा किया है जिससे लोग हमारे साथ हैं.

राज्य में वैसे तो खासकर दो सीटों पर सबकी नजर है. कर्जत जामखेड सीट के अलावा मुंबई की वरली सीट भी है जहां शिवसेना के आदित्य ठाकरे भी मैदान में हैं. आदित्य और रोहित में समानता यह है कि जहां ठाकरे घराने की तीसरी पीढ़ी आदित्य हैं तो रोहित भी पवार घराने की तीसरी पीढ़ी हैं. ये दोनों युवा हैं. 

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कर्जत जामखेड में कथित रूप से बाहरी होने के बावजूद रोहित का दावा है कि वे बीजेपी के राम को कड़ी चुनौती दे रहे हैं. अहमदनगर जिले के भाजपा के एक वरिष्ठ नेता का भी मानना है कि इस बार राम शिंदे और रोहित पवार के बीच कांटे की लड़ाई है. राम शिंदे भाजपा के टिकट से तीसरी बार मैदान में उतरे हैं. वे कहते हैं, 'मैंने अपने क्षेत्र में खूब काम किया है. खासकर पानी की समस्या को खत्म करने की दिशा में ठोस कदम उठाए गए हैं.' इस पर रोहित पलटवार करते हुए कहते हैं, 'बीजेपी के कब्जे वाली इस सीट पर वर्तमान विधायक मंत्री भी हैं. बावजूद इसके इलाके में किसानों, पढ़े-लिखे युवाओं के लिए काम नहीं किया है और महिलाओँ की स्थिति अच्छी नहीं है. पीने और सिंचाई के लिए पानी नहीं है.' 

इस सीट पर जातीय समीकरण की भी अहम भूमिका होती है. यह मराठा बहुल क्षेत्र है और धनगर समाज भी एकजुट है. राम शिंदे धनगर समाज से आते हैं तो रोहित मराठा हैं.

इन दोनों ही अहम उम्मीदवारों से खास बातचीतः

रोहित पवार, एनसीपी प्रत्याशी

आप बाहरी हैं, ऐसा सीएम देवेंद्र फडणवीस कह रहे हैं?

सीएम मेरे बारे में बोलते हैं. वे अपनी पार्टी के चंद्रकांत पाटील के बारे में क्यों नहीं बोलते जिन्हंट बीजेपी के लोगों के विरोध के बावजूद कोथरूड से टिकट दिया गया. मैं इस बात से भी अचंभित हूं कि सीएम जैसे ताकतवर व्यक्ति मेरे खिलाफ तीन-तीन सभाएं करते हैं और अमित शाह भी यहां प्रचार करने आ रहे हैं. आखिर मुझसे क्यों डरते हैं.

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शरद पवार परिवार से होने का कितना फायदा मिल रहा है आपको?

साहेब (शरद पवार) का काम बोलता है और लोगों का उन पर विश्वास है. इस परिवार का होने का फायदा निश्चित रूप से मिल रहा है. लेकिन मैं साहेब से प्रेरणा लेकर काम भी कर रहा हूं. इस वजह से मेरे साथ लोग हैं. 

पवार का नाम जिस तरह से घोटाले में आया, उसे किस तरह से देखते हैं आप?

उन पर हवा में आरोप हैं. उन्हें और पार्टी को बदनाम करने की साजिश है.

पारिवारिक कलह की बातें सामने आई है. उससे आपके चुनावी राजनीति पर क्या असर पड़ेगा?

यह मेरे लिए अच्छी बात है. कलह तो है नहीं. ऐसी अफवाह के बाद अब मुझे हर कोई मदद कर रहा है. 

जातीय समीकरण को देखते हुए मराठा आरक्षण आपके चुनाव क्षेत्र पर क्या असर डालेगा?

मैं इस पर बात नहीं करता हूं. मैं क्षेतीय समस्याओं पर ज्यादा ध्यान दे रहा हूं. बीजेपी ने पानी और सिंचाई के अलावा इस क्षेत्र के सामाजिक, आर्थिक और सांस्कृतिक विकास के लिए कोई काम नहीं किया है. 

आपकी महत्वाकांक्षा क्या है?

मैं महत्वाकांक्षी नहीं, रियलिस्टिक हूं. 

राम शिंदे, भाजपा प्रत्याशी

शरद पवार के परिवार का सदस्य आपके सामने है, इससे कितनी चुनौती मिल रही है आपको?

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कुछ भी चुनौती नहीं है. इसका कारण है कि इस क्षेत्र में उनका कोई योगदान नहीं है. उनके पास पैसे हैं. इसके बल पर वे विधायक बनना चाहते हैं. 

यह सीट बीजेपी का गढ है, वजह क्या है?

इस क्षेत्र में कांग्रेस-एनसीपी का जैसा व्यवहार रहा है उससे यहां के लोगों को इन पार्टियों के प्रति घृणा है. स्थानीय लोगों को डराया धमकाया जाता है जिससे वे लोग हमारे साथ हैं. 

आप जैसे गैरमराठा को मराठा आरक्षण का कितना फायदा होगा?

मराठा आरक्षण का फायदा होगा. हमारे विरोधी लोगों को जाति में बांटने की कोशिश कर रहे हैं. लेकिन इसमें उन्हें सफलता नहीं मिल रही है. मैं समाज के हर वर्ग को जोड़ रहा हूं. 

आपने विधायक और मंत्री के रूप में काम किया है. लेकिन अब बचे हुए काम क्या हैं?

मैंने बिजली, सड़क और पानी के लिए काम किया है. अब नौजवानों के लिए काम करना है ताकि उन्हें रोगजार उपलब्ध हो सके. एक टैक्सटाइल फैक्टरी का काम शुरू हो रहा है. एक शक्कर कारखाना खुलने जा रहा है. फाइव स्टार एमआईडीसी की स्थापना होगी जिससे राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय उद्योग लगेंगे. 

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